छात्र खुश रहकर अपने ¨जदगी का लक्ष्य करें प्राप्त
प्रधानाचार्या, मेजर अमर बहादुर सरस्वती ¨सह गर्ल्स इंटर कालेज, ¨सगरामऊ, जौनपुर।प्रधानाचार्या, मेजर अमर बहादुर सरस्वती ¨सह गर्ल्स इंटर कालेज, ¨सगरामऊ, जौनपुर।
जौनपुर : ¨जदगी की इस भागम-भाग में हर व्यक्ति का लक्ष्य रहता है कि वो खुश रहे। अपना लक्ष्य व खुशी पाने के लिए छात्राएं अपनी योग्यता और संस्कार के बल पर अब उन क्षेत्रों में भी अपने को स्थापित कर रही हैं, जहां पहले पुरुष का ही दबदबा था। ये सामाजिक और पारिवरिक परंपरागत धारणा को तोड़ते हुए हर दिन नए कीर्तिमान स्थापित कर रही हैं। इस समाज में महिलाओं को उड़ान भरने की आजादी मिली है। अब छात्राओं को अपनी खुली ¨जदगी में नित नई उड़ान भरने की आजादी मिल रही है। अब वे नित नई इबारत लिख रही हैं। किसी ने ऊंची उड़ान भरकर पुरुष प्रधान वाले क्षेत्र में प्रवेश करके पुराने मिथक को तोड़ा है, तो कुछ ने ऐसा करने की कोशिश की है जो समाज के लिए मिसाल बन गया है। यदि हमारी सोच नई हो, कुछ नया करने का जुनून हो, तो रास्ते खुद ब खुद खुलने लगते हैं। छात्राएं इसे साबित भी करती हैं। ¨जदगी का लक्ष्य यदि अपने आपको खुश रखना है तो संस्कार ऐसा हो ताकि हर बच्चा खास हो, हर बच्चे में कोई न कोई खूबी जरूर होती है, हमें उसको भी पहचानना होगा। अभिभावक होने के नाते यह जिम्मेदारी है कि हम उसको खूबी को पहचाने और उसे निकालने में बच्चों की मदद करें। हम सब में कोई न कोई योग्यता और कमजोरी होती है। मुझ में भी कुछ काबिलियत है, कुछ कमजोरी है। हमें देखना होगा बच्चों को क्या अच्छा लगता है। उसका दिल क्या चाहता है। वह अपने आपको कैसे खुश रख सकते है। उसकी ख्वाहिश को समझना होगा। बच्चे में कोई कमजोरी हो सकती है। हमें बच्चों पर अनावश्यक प्रतियोगिता थोपने की वजह उन्हें अच्छा इंसान बनने की प्रेरणा देनी चाहिए। मेरी ख्वाहिश है कि हमारी शिक्षा व्यवस्था ऐसी हो कि बच्चे बड़े होकर सम्मान की ¨जदगी जी सकें, उनके अंदर दूसरों की मदद करने की भावना हो, वह जिम्मेदार नागरिक बनें और वह सिर्फ अपने बारे में नहीं बल्कि पूरे समाज के बारे में सोचें। पैसा कमाना तो ठीक है लेकिन उनके अंदर सिर्फ पैसा कमाने की धुन नहीं होनी चाहिए। खुद के साथ समाज की ¨चता जरूरी है।
अंतिमा ¨सह-प्रधानाचार्य-मेजर अमर बहादुर सरस्वती ¨सह गर्ल्स इंटर कालेज, ¨सगरामऊ