धमाके के बाद फैक्ट्री के गेट पर ताला, बिखरा सामान, सब मौन
पुलिस को विलंब से मिली सूचना घंटों घायलों की होती रही तलाश तीन मजदूरों की हालत नाजुक एक आगरा रेफर देर रात तक नहीं दी गई कोई भी तहरीर।
संसू, हाथरस : हसायन में औद्योगिक आस्थान में गुरुवार तड़के हुए धमाके के बाद जहां कर्मियों में अफरा-तफरी मची रही। वहीं पुलिस प्रशासन तक सूचना समय से नहीं पहुंची। हादसे को पूरी तरह से दबाने का प्रयास किया गया। यहां तक कि पुलिस को भी सूचना नहीं दी गई। कई घंटे बाद पुलिस पहुंची तो घायल कौन और कितने लोग हैं, कहां पर उपचार चल रहा है, यह सब बताने वाला कोई नहीं था। देर शाम तक घायलों के बारे में पड़ताल जारी थी।
वाकया गुरुवार की सुबह छह बजे का है। एक मजदूर ने बताया कि बॉयलर (भट्ठी) में डाली गई मोटरसाइकिल की टंकी को खोल कर उसकी गैस नहीं निकाली गई। अंदाजा लगाया जा रहा है कि उस मोटरसाइकिल की टंकी में पेट्रोल था। उसी में धमाका हुआ। फैक्ट्री संचालकों ने इस मामले की सूचना पुलिस व प्रशासन के अधिकारियों को नहीं दी। किसी तरह मामला थाने तक पहुंचा तो बाद में कोतवाली पुलिस और सीओ फैक्ट्री पर पहुंचे। वहां कुछ कर्मचारी मिले तो उनके बयान लिए। उन्होंने निरीक्षण में पाया की भारी तादाद में फैक्ट्री के अंदर लोहे का कबाड़ा पड़ा हुआ था। इसकी क्षमता कितना लोहा गलाने की है कोई भी रिकॉर्ड नहीं मिल पाया। सीओ ने उपस्थित कर्मचारियों से कर्मचारियों का हाजिरी रजिस्टर मांगा मगर वह भी कर्मचारी नहीं दिखा पाए। बताया गया कि फैक्ट्री का गेट हमेशा बंद रहता है। कर्मचारी व संबंधित पहचान वाले लोगों को ही अंदर प्रवेश कराया जाता है।
धमाके में गंभीर रूप से घायल मुकेश (28 वर्ष) पुत्र रामनिवास निवासी केशिया का नगला काफी समय से बॉयलर के पास सुपरवाइजर का कार्य करता है। मुकेश समेत दो अन्य मजदूरों की हालत चिताजनक बताई गई है। मुकेश को आगरा रेफर किया गया है। अन्य घायलों का मेडिकल में उपचार चल रहा है। इस बात की पुष्टि कोतवाल हसायन मृदुल कुमार सिंह ने भी की है।
औद्योगिक क्षेत्र की चौकी इंचार्ज सत्यवान सिंह का कहना है कि शिकायत आने पर अग्रिम कार्रवाई की जाएगी। मौके से मैनेजर भी भाग चुका है। फैक्ट्री में कोई भी सही जानकारी देने वाला वरिष्ठ कर्मचारी नहीं मिल पाया है। मजदूरों के लिए नहीं हैं
सुरक्षा के इंतजाम
संसू, हसायन : औद्योगिक आस्थान में संचालित कई फैक्ट्रियों में मजदूरों की सुरक्षा इंतजाम का कोई ख्याल नहीं रखा जाता है। ड्रेस, सुरक्षा किट, हेलमेट आदि के बिना ही उनसे काम कराया जाता है। इस फैक्ट्री में दो वर्ष पहले भी हादसा हुआ था। रेलवे का सामान गलाने की आशंका
घटनास्थल पर बड़ी संख्या में स्क्रैप पड़ा मिला है। इसमें रेलवे का सामान भी पड़ा होने की बात कही जा रही है। पुलिस भी इस मामले में छानबीन कर रही है।