विद्यालयों में लौटेगी रौनक, अभिभावकों की सहमति वालों को ही प्रवेश
- जिले में बीस फीसद विद्यार्थियों के अभिभावकों ने दी स्वीकृत - प्रत्येक कक्षा में बीस विद्यार्थी ही बैठेंगे
हरदोई : साढ़े छह माह बाद विद्यालय खुल रहे हैं। घरों में बैठे बच्चों को विद्यालय जाने का मौका मिलेगा। विद्यालयों में सिर्फ अभिभावकों की सहमति वाले विद्यार्थियों को ही शिक्षण कार्य का मौका मिलेगा। अन्य ऑनलाइन ही शिक्षण कार्य करेंगे।
जिले में 620 माध्यमिक विद्यालय संचालित है। जिसमें कुल एक लाख 79 हजार 986 विद्यार्थी पंजीकृत है। इनमें कक्षा नौ में 48541,कक्षा दस में 51818, कक्षा 11 में 37558 व कक्षा 12 में 42069 विद्यार्थी शामिल हैं। इनमें से 20 फीसद विद्यार्थियों ने ही बच्चों को स्कूल भेजने की सहमति दी है। जिससे सोमवार को विद्यालय खुलने पर माध्यमिक शिक्षा परिषद के विद्यालयों में एक लाख 79 हजार के सापेक्ष सिर्फ 35 हजार 998 विद्यार्थी ही पहुंचेंगे।
जिलाधिकारी के निर्देश पर शहरी क्षेत्र के राजकीय और ऐडेड विद्यालयों में पालिका प्रशासन की ओर से और ग्रामीण क्षेत्र में ग्राम पंचायत की ओर से विद्यालयों को सैनिटाइजेशन कराया जाएगा। कोरोना सुरक्षा गाइड लाइन के अनुसार एक कक्षा में अधिकतम बीस बच्चे ही बैठ सकेंगे। विद्यालय दो पालियों में संचालित होंगे। सुबह की पाली में कक्षा 11 व 12 और शाम की पाली में कक्षा नौ व दस के विद्यार्थी बुलाए जाएंगे। ऑफ लाइन के साथ ऑनलाइन भी कक्षाएं संचालित रहेंगी।
जनता इंटर कालेज के प्रधानाचार्य व प्रधानाचार्य परिषद के अध्यक्ष डा. राजेश तिवारी ने बताया कि कोविड-19 के संबंध में विभागीय गाइड लाइन का पालन करते हुए कक्षाएं संचालित की जाएगी। सुरक्षा गाइड लाइन का कड़ाई से पालन कराया जाएगा। गुरु जी निभाएंगे चिकित्सक का दायित्व
जासं,हरदोई : विद्यालयों को कोविड 19 को लेकर जारी गाइडलाइन का पालन करना होगा। प्रत्येक विद्यालय में एक चिकित्सक और एक काउंसलर की तैनाती का प्राविधान किया गया है। मगर विद्यालयों में उक्त दोनों पद ही नहीं है। जिससे गुरु जी को ही चिकित्सक व काउंसलर का दायित्व निभाना होगा।
सोमवार से विद्यालयों में कक्षा नौ से 12 तक की कक्षाएं शुरू हो जाएंगी। विद्यालयों में मेडिकल एक्सपर्ट और काउंसलर के पद ही नहीं है। जबकि विभागीय गाइड लाइन में मेडिकल एक्सपर्ट और काउंसलर रखने के निर्देश हैं।
प्रशासन की ओर से जिला अस्पताल और स्वास्थ्य केंद्र को एलर्ट किया गया है। मगर विद्यालय में अगर समस्या होती है तो सबसे पहले गुरु जी ही बच्चे के लिए कोरोना वैरियर का कार्य करेंगे। जिला विद्यालय निरीक्षक वीके दुबे ने बताया कि सभी प्रधानाचार्यो को सावधानी बरतने के निर्देश दिए गए है। यह है जिले में विद्यालयों की स्थिति
यूपी बोर्ड के कुल विद्यालय- 627
राजकीय विद्यालय -54
ऐडड विद्यालय -52
निजी विद्यालय-501
सीबीएसई बोर्ड -26
आईसीएसई बोर्ड-2
---- विद्यालयों में सुरक्षा गाइड लाइन का करना होगा पालन हरदोई : जिला विद्यालय निरीक्षक वीके दुबे की ओर से सभी प्रधानाचार्यो को विभागीय गाइड लाइन के संबंध में दिशा निर्देश जारी किए गए है। इसके तहत सभी प्रधानाचार्यो को निम्न गाइड लाइन का अनिवार्य रूप से पालन करना होगा-
- विद्यालयों की कक्षाओं को प्रतिदिन दो बार सैनिटाइज करना होगा
- विद्यालय में सैनिटाइजर, हैंडवाश, थर्मल स्कैनिग व प्राथमिक चिकित्सका की व्यवस्था रहेगी
- विद्यार्थियों को हैंडवाश व सैनिटाइज करने पर ही प्रवेश दिया जाएगा
- विद्यालय की बसों को प्रतिदिन सैनिटाइज कराना होगा
- सभी शिक्षक,विद्यार्थियों व कर्मचारियों को मास्क पहनना अनिवार्य है
- कक्षा में विद्यार्थियों के बीच छह फीट की दूरी रहेगी
- एक दिन में पचास फीसद से अधिक विद्यार्थियों को नहीं बुलाया जाएगा
- लैब में भी प्रशिक्षु छह फिट की दूरी पर रहकर कार्य करेंगे।
-----
सचित्र : स्कूल जाने को विद्यार्थियों में भी है उत्साह जासं,हरदोई : विद्यार्थियों में भी विद्यालय जाने को लेकर उत्साह है। उनका कहना है कि सरकारी की जारी गाइड लाइन का पालन करते हुए पढ़ाई पूरी करेंगे और महामारी से बचाव करते हुए आगे बढ़ेगे। 18एचआरडी07
स्कूल खुलने का काफी दिनों से इंतजार था। हालांकि लॉकडाउन के दिनों से अब तक घर में पढ़ाई करते रहे, लेकिन स्कूल -कालेज शुरू होने पर कोरोना से बचाव के नियम का पालन करते हुए पढ़ाई पूरी करेंगे।
साक्षी शुक्ला, कक्षा 10 18एचआरडी08
कक्षाओं में जाकर पढ़ेंगे और कोरोना का बचाव करते हुए आगे बढेंगे। घर में जरूर किताबों को दोहराते रहे है, लेकिन कक्षा में पढ़ाई का अपना अलग महत्व है।
प्रियूष श्रीवास्तव, कक्षा 12 18एचआरडी09
कई माह बाद स्कूल खुल रहे है। नियमों का पालन करते हुए हम स्कूल जाएंगे। स्वच्छता की जानकारी घर पर पहले ही मिली है। विद्यालय में भी उसका पालन करेंगे।
अमन पांडेय, कक्षा 10
महीनों बाद बंद चल रहे स्कूलों के कारण इस शिक्षण सत्र में बहुत नुकसान उठा चुके है। हालांकि अब विद्यालय खुल रहे हैं, लेकिन कितने अभिभावक बच्चों को स्कूल भेजने के लिए तैयार हो रहे है।इससे ही कापी किताबों की बिक्री का कुछ अंदाजा लग पाएगा, लेकिन यह मान लिया जाए कि नुकसान की भरपाई होना मुश्किल है।
सत्येन्द्र तिवारी पुस्तक विक्रेता
विद्यालयों के खुलने से विद्यार्थी व शिक्षक एक दूसरे के रूबरू हो सकेंगे। विद्यालय में नियमित कक्षाओं का विद्यार्थियों को लाभ मिलेगा। विद्यालय में गाइड लाइन के अनुसार सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए गए है।
राजीव शुक्ला, प्रधानाचार्य किर्डेश सिंह इंटर कालेज ककरघटा, शाहाबाद