पर्ची के लिए हाहाकार, खेतों में गन्ना हो रहा बेकार
श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल श्रठ्ठ ह्लद्धद्ग ह्यश्चश्रह्ल
पचदेवरा-बेहटागोकुल : गन्ना किसान परेशान हैं। कारण उनको गन्ना बेंचने के लिए समय से पर्ची नहीं मिल पा रही है। यही नहीं अभी तक सामान्य गन्ने की पर्चियां तक जारी नहीं की जा रहीं। यदि किसान सामान्य गन्ना लेकर पहुंचते भी हैं तो उन्हें क्रय केंद्र से वापस कर दिया जाता है। वहीं कुछ केंद्रों पर गन्ना लेकर पहुंचे किसानों से गन्ना उतरवाने के लिए डेढ़ सौ रुपये लिए जा रहे हैं। पूरे जिले में ऐसा ही चल रहा है। सोमवार को बेहटागोकुल और पचदेवरा व सुरसा क्षेत्र के कुछ केंद्रों में जो दिखाई दिया उस पर एक रिपोर्ट। 03एचआरडी-22
स्थान : अनंगपुर गन्ना क्रय केंद्र समय 11.30
²श्य एक
क्षेत्र में गन्ना पर्ची न मिलने से हाहाकार मचा हुआ है, किसान गन्ना समिति और चीनी मिल के चक्कर लगा रहे हैं। गन्ना समिति रूपापुर के एसीडीआई का कहना है कि पर्चियां लखनऊ से जारी होती हैं, इसी तरह आएंगी। अनंगपुर गन्ना क्रय केंद्र पर मौजूद विजय प्रताप सिंह पचदेवरा ने कहा कि पर्चियां कैसे आती हैं। कहां से आती हैं कब मिलेंगी, कुछ पता नहीं है। क्रय केंद्र पर बताया गया कि मिल में कुछ तकनीकी खराबी के चलते क्रय केंद्रों पर तौल रोकी गई है। यहां ट्रांसपोर्ट व लेबर की व्यवस्था नहीं है। तीन-तीन दिन तक गन्ने से लदी ट्रालियां खड़ी रहती हैं। बड़े भईया चकराछा ने कहा कि अभी 15 बीघा पेड़ी खड़ी है। पर्चियां नहीं आ रहीं। जिससे गन्ना खेत में सूख रहा है। 03एचआरडी-07
स्थान : क्रय केंद्र पिपरिया समय 12 बजे
²श्य दो केंद्र पर सन्नाटा पसरा था। तौल लिपिक मोबाइल में व्यस्त थे। किसान अशोक, सुशील, सोनू, छोटेलाल आदि किसानों ने बताया कि वर्तमान में केवल अर्ली गन्ने की तौल की जा रही है। सामान्य गन्ना नहीं लिया जा रहा है, न ही पर्चियां जारी की जा रहीं हैं। वहीं क्रय केंद्र पर दो दिन से गन्ने की ट्रालियां खड़ी हैं। जिनकी तौल नहीं हो सकी है। इस बार किसान समिति के बराबर चक्कर काट रहा हैं, लेकिन कोई निष्कर्ष नहीं निकल पा रहा है। किसान औने-पौने दामों पर गन्ना बेचने का विवश है। 03एचआरडी-10 व 11
स्थान: सकाहा क्रय केंद्र समय 12.50 बजे
²श्य तीन
सकाहा गन्ना क्रय केंद्र पर मौजूद किसान अनिल कुमार, रामनरेश, कश्मीर सिंह, जगदीश कुमार आदि ने बताया कि क्रय केंद्र पर एक ट्राली गन्ना उतराई के लिए 120 रुपये लिए जाते थे, लेकिन सोमवार से नए प्रभारी ने 150 रुपये तय कर दिया है। किसानों को मजबूरन रुपये देने पड़ रहे हैं। वहीं पर्चियों का हाल बहुत खराब है। एक पर्ची कई दिनों के बाद आती है और इसके बाद गन्ने की तौल कराई जाती है। 03एचआरडी-08 व 09
स्थान: भम्मापुरवा क्रय केंद्र 01.10 बजे
²श्य चार
भम्मापुरवा गन्ना क्रय केंद्र पर किसानों और प्रभारी के बीच कहासुनी हो रही थी। मौजूद किसान वीरेंद्र कुमार, गौतम सिंह, राजबहादुर सिंह आदि का कहना है कि किसानों को उतरवाई के नाम पर हर साल पैसा देना पड़ता है। रुपये मांगने पर प्रभारी और किसानों के बीच तीखी नोकझोंक भी हुई, लेकिन इसके बाद भी गन्ना उतरवाने के लिए रुपये लिए जाते हैं। हालांकि प्रभारी का कहना था कि ऐसा कुछ नहीं है। किसान गलत आरोप लगा रहे हैं। 03 एचआरडी 16,17 व 18
स्थान-सुरसा क्षेत्र के मलिहामऊ गन्ना केंद्र समय एक बजे
²श्य पांच
केंद्र पर गन्ना की ट्रालियां खड़ी हैं। फतियापुर निवासी किसान रामचंद्र, अधर्रा निवासी मुकेश, चेतराम आदि का कहना था कि उन लोगों को पर्ची नहीं मिलती हैं। पिछले काफी दिनों से परेशान हैं। पर्ची आ जाती हैं तो तौल नहीं हो पाती है। परेशान किसानों की कोई सुनने वाला नहीं है।