अब तीन सौ रुपये में तैयार होगी बच्चों की ड्रेस
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हरदोई : परिषदीय और अशासकीय सहायता प्राप्त विद्यालयों में कक्षा एक से आठ तक के बच्चों को इस बार गुणवत्ता पूर्ण ड्रेस मिलने की उम्मीद जागी है। कई सालों बाद ड्रेस की कीमत बढ़ी है। अब बच्चों को तीन सौ रुपये की कीमत जोड़ी ड्रेस मिलेगी। प्रति बच्चा 600 रुपये के हिसाब से धनराशि जारी होगी। शासन स्तर से जारी आदेश में 15 जुलाई तक ड्रेस वितरण का समय दिया गया है। शुक्रवार को अपर मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश शासन की तरफ से बेसिक शिक्षा निदेशक को पत्र जारी किया गया है।
परिषदीय, राजकीय और समाज कल्याण से संचालित कक्षा एक से आठ तक बच्चों को शासन की ओर से नि: शुल्क ड्रेस उपलब्ध कराई जाती है। विगत वर्षो में बच्चों की एक ड्रेस दो सौ रुपये में तैयार होती थी। मंहगाई बढ़ने और रुपये न बढ़ने से गुणवत्ता पर भी सवाल खड़े किए जाते थे। उसी को देखते हुए चालू शैक्षिक सत्र में ड्रेस की गुणवत्ता में सुधार करने के लिए ड्रेस की धनराशि में इजाफा कर दिया है। अब एक ड्रेस तीन सौ रुपये में तैयार की जाएगी। प्रत्येक विद्यार्थी को दो ड्रेस दी जानी है। इसलिए इस पर एक विद्यार्थी पर चार सौ के स्थान पर छह सौ रुपये व्यय किए जाएंगे। शुक्रवार को शासन की ओर से इस संबंध में विभाग को निर्देश जारी कर दिए गए है। विभाग ने बच्चों को 15 जुलाई तक ड्रेस उपलब्ध कराने के निर्देश दिए है। इससे इस बार विद्यार्थियों को बेहतर गुणवत्ता की ड्रेस मिलने की संभावना है। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी हेमंतराव ने बताया कि शासनादेश के अनुसार वितरण होगा।
टेक्सटाइल्स कमेटी ने तय किए ड्रेस के मानक : भारत सरकार के वस्त्र मंत्रालय की टेक्सटाइल्स कमेटी की ओर से इस बार ड्रेस के मानक तय किए गए है। उन्हीं मानकों के अनुरूप विद्यार्थियों को ड्रेस उपलब्ध करानी होगी। इसके लिए विभाग को ड्रेस के कपड़े के संबंध में टेक्सटाइल्स कमेटी की ओर से तय किए गए मानक भेजे गए हैं। समय सीमा में करना होगा वितरण : परिषदीय विद्यालयों के बच्चों को निर्धारित समय सीमा में ड्रेस उपलब्ध करानी होगी। इसके लिए एक जुलाई से 15 जुलाई तक का समय निर्धारित किया गया है। विभाग को तय सीमा में ही ड्रेस वितरित करनी होगी। जिला स्तरीय कमेटी करेगी अनुमोदन : ड्रेस वितरण और उसकी गुणवत्ता पर आठ सदस्यीय जिला स्तरीय कमेटी नजर रखेगी। जिसमें जिलाधिकारी अध्यक्ष, सीडीओ, महाप्रबंधक उद्योग केंद्र, वरिष्ठ कोषाधिकारी, डायट प्राचार्य, डीआईओएस, पंचायत राज अधिकारी सदस्य होंगे और बीएसए सचिव/सदस्य होंगे।
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