दुनिया के सबसे बड़े प्लेटफार्म को चाहिए राजधानी, मुखर हुए जनप्रतिनिधियों व उद्यमी
रेलवे के गोरखपुर रूट पर राजधानी सहित वंदे भारत शताब्दी और दूरंतो एक्सप्रेस के चलने की आस जग गई है। ट्रैक को 110 से 130 किमी प्रति घंटा की रफ्तार के लायक बनाने के बाद राजधानी एक्सप्रेस के मानकों को भी तेजी के साथ पूरा करने में जुट गया है।
गोरखपुर, जागरण संवाददाता। Gorakhpur Needs Rajdhani Express: पूर्वांचल के प्रमुख धार्मिक और पर्यटन केंद्र तथा तेजी के साथ आर्थिक हब के रूप में उभर रहे पूर्वोत्तर रेलवे जोन के मुख्यालय गोरखपुर रूट पर राजधानी सहित वंदे भारत, शताब्दी और दूरंतो एक्सप्रेस के चलने की आस जग गई है। रेलवे प्रशासन ने मुख्य मार्ग वाया गोरखपुर बाराबंकी से छपरा तक के ट्रैक को 110 से 130 किमी प्रति घंटा की रफ्तार के लायक बनाने के बाद राजधानी एक्सप्रेस के मानकों को भी तेजी के साथ पूरा करने में जुट गया है। रेलवे प्रशासन ही नहीं सांसदों और उद्यमियों के कदम भी गुरु गोरक्षनाथ की पावन धरती के रास्ते राजधानी एक्सप्रेस के संचालन को लेकर बढ़ गए हैं। जनप्रतिनिधि भी आगे आ गए हैं।
जागरण ने शुरू किया अभियान
दरअसल, दैनिक जागरण ने हमें चाहिए राजधानी अभियान के माध्यम से गोरखपुर और बस्ती की दो करोड़ से अधिक की आबादी सहित नेपाल व बिहार के हजारों लोगों के अलावा पर्यटकों व क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों तथा उद्यमियों की समस्याओं को प्रमुखता से उभारा है। ताकि पूर्वी उत्तर प्रदेश के धार्मिक, आध्यात्मिक और पर्यटन क्षेत्र को भी समृद्ध किया जा सके। जनप्रतिनिधियों ने भी पूर्वांचल की जनता का ही नहीं पर्यटकों, बिहार और नेपाल के लोगों के सपनों को साकार करने का बीड़ा उठाने का संकल्प लिया है। उनका कहना है कि पूर्वांचल के इस प्रमुख मुद्दे को रेल मंत्रालय सहित सरकार तक पहुंचाएंगे।
उद्यमी भी आए साथ
उद्यमी भी गोरखपुर से दिल्ली तक की यात्रा को सुहाना बनने में आगे आए हैं। कहते हैं, पूर्वांचल का प्रमुख शहर व पूर्वोत्तर रेलवे का मुख्यालय होने के बाद भी गोरखपुर रूट पर प्रमुख ट्रेनों का नहीं चलना अखरता है। उद्यम से जुड़े लोगों के लिए दिल्ली की यात्रा पहाड़ चढ़ने जैसी होती जा रही है। आवश्यक कार्य के लिए दिल्ली जाने के बारे में सोचना पड़ता है। अब जब राजधानी एक्सप्रेस जैसी ट्रेनें चलने लगेंगी तो राह आसान हो जाएगी। वैशाली, गोरखधाम, सप्तक्रांति और बिहार संपर्क क्रांति एक्सप्रेस का लोड भी कम हो जाएगा। आरामदायक सफर के साथ समय की भी बचत होगी। फिलहाल, पूर्वोत्तर रेलवे प्रशासन ने भी राजधानी व वंदेभारत जैसी ट्रेनों को संचालित करने को लेकर मंथन शुरू कर दिया है। जानकारों के अनुसार बोर्ड को भेजने के लिए प्रस्ताव तैयार करने की भी योजना है। पूर्वोत्तर रेलवे प्रशासन राजधानी व वंदेभारत जैसी ट्रेनों को संचालित करने को तैयार है। सिर्फ बोर्ड की हरी झंडी का इंतजार है।
जागरण की इस मुहिम में मैं पूरी तरह साथ हूं। इसके लिए पूर्वोत्तर रेलवे के महाप्रबंधक से भी मिल चुका हूं। गोरखपुर से होकर राजधानी एक्सप्रेस गुजरे, यह मेरी प्राथमिकता में शामिल है। यह ट्रेन गोरखपुर की जरूरत और मांग दोनों है। अगर गोरखपुर में जल्द यह सेवा शुरू नहीं हुई तो मुद्दे को संसद के शीतकालीन सत्र में प्रमुखता से उठाउंगा। इसके लिए रेल मंत्री को पत्र लिख चुका है। जल्द ही उनसे मिलकर उन्हें गोरखपुर में राजधानी एक्सप्रेस की जरूरत के बारे में भी बताउंगा। - रवि किशन, सांसद, गोरखपुर।
सभी को यह सुनकर आश्चर्य लगता है कि जो जिला पूर्वोत्तर रेलवे का मुख्यालय है, वही राजधानी एक्सप्रेस ट्रेन की सुविधा से वंचित है। प्रतिदिन यहां से बड़ी संख्या में लोग दिल्ली सहित देश के बड़े शहरों के लिए ट्रेन की यात्रा करते हैं। ऐसे में यहां से राजधानी के गुजरने की सख्त जरूरत है। जागरण की इस मुहिम में मैं उसके साथ हूं। जल्द से महाप्रबंधक से मिलकर इसमें आ रही दिक्कत को लेकर बात करूंगा। रेल मंत्री से भी बात की जाएगी। संसद में मुद्दे को रखा जाएगा। - शिव प्रताप शुक्ल, राज्यसभा सदस्य।
राजधानी एक्सप्रेस गोरखपुर की जरूरत है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि पूर्वोत्तर रेलवे के मुख्यालय से यह ट्रेन नहीं गुजरती है। इसे लेकर बहुत जल्द मैं पूर्वोत्तर रेलवे के महाप्रबंधक से मुलाकात करूंगा। इसकी राह में सरकार स्तर से आ रही अड़चन को भी दूर करने का प्रयास किया जाएगा। जरूरत पड़ी तो संसद में इस मुद्दे को उठाया जाएगा। पूरी कोशिश होगी कि जल्द से जल्द गोरखपुर सहित पूर्वांचल के सभी लोगों को इस महत्वपूर्ण ट्रेन का लाभ मिले। - जयप्रकाश निषाद, राज्यसभा सदस्य।
चैंबर आफ इंडस्ट्रीज बहुत पहले से गोरखपुर से राजधानी चलाने की मांग करता आया है। गोरखपुर एक महत्वपूर्ण स्टेशन है और पूर्वांचल का महत्वपूर्ण शहर भी। यहां से कई फ्लाइट भी चल रही है। औद्योगिक विकास भी तेजी से हो रहा है। बाहर से व्यापारियों का आना-जाना लगा रहता है। ऐसे में राजधानी एक्सप्रेस चलेगी तो लोगों को काफी फायदा हो सकेगा। रेल मंत्रालय को राजधानी चलाने की घोषणा करनी चाहिए। - एसके अग्रवाल, पूर्व अध्यक्ष, चैंबर आफ इंडस्ट्रीज।
गोरखपुर महत्वपूर्ण शहर है। योगी आदित्यनाथ के मुख्यमंत्री बनने के बाद और तेजी से विकास हो रहा है। रेलवे के ट्रैक आदि भी पहले से बेहतर हो चुके हैं। शुरुआत में गोरखपुर रूट से ही राजधानी चलाई जानी थी लेकिन उसे बलिया शिफ्ट कर दिया गया। बदली परिस्थिति में भी सभी तैयारियां हो चुकी हैं तो राजधानी चलाने पर फैसला जल्द लेना चाहिए। ऐसा करने से यहां के लोगों को काफी फायदा होगा। - विष्णु प्रसाद अजित सरिया, अध्यक्ष, चैंबर आफ इंडस्ट्रीज।
नई ट्रेनों का संचालन सम्मानित यात्रियों की मांग को ध्यान में रख कर लाइन कैपेसिटी की उपलब्धता के आधार पर किया जाता है। राजधानी या उसके जैसी अन्य एक्सप्रेस ट्रेनों को लेकर अगर कोई प्रस्ताव प्राप्त होता है तो तकनीकी व्यवहारिकता के आधार पर विचार के उपरांत रेलवे बोर्ड को भेजा जा सकता है। फिलहाल, महत्वपूर्ण ट्रेनों में राजधानी एक्सप्रेस में लगने वाले एलएचबी कोच लगने लगे हैं। देश की प्रथम हमसफर और प्रथम तेजस एक्सप्रेस पूर्वोत्तर रेलवे से चलाई गई है। देश की प्रथम वंदे भारत एक्सप्रेस पूर्वोत्तर रेलवे के सिस्टम से होकर चलती है। - पंकज कुमार सिंह, मुख्य जनसंपर्क अधिकारी- पूर्वोत्तर रेलवे।