Move to Jagran APP

संरक्षण की पहल : गीताप्रेस ने शुरू किया वेदों के प्रकाशन पर काम

गीताप्रेस अब वेदों के संरक्षण की तैयारी कर रहा है। अब गीताप्रेस वेदों को प्रकाशित कर रहा है। शुक्ल यजुर्वेद पर काम चल रहा है।

By Edited By: Published: Fri, 15 Mar 2019 09:30 AM (IST)Updated: Fri, 15 Mar 2019 10:10 AM (IST)
संरक्षण की पहल : गीताप्रेस ने शुरू किया वेदों के प्रकाशन पर काम
गोरखपुर, जेएनएन। गीताप्रेस की पहचान धार्मिक पुस्तकों को सस्ते दर पर आम जन तक पहुंचाने की है। गीताप्रेस लोकोपयोगी नित नए काम कर रहा है। गीताप्रेस ने अब वेदों को प्रकाशित करने का बीड़ा उठाया है। गीताप्रेस की तरफ से शुक्ल यजुर्वेद पर कार्य शुरू किया गया है। छपाई भी पूरी हो चुकी है, अब संपादन का कार्य चल रहा है। 60 पेज में इसका सार संक्षेप दिया गया है।
इसके बाद क्रमश: अन्य वेदों को प्रकाशित करने की गीताप्रेस की योजना है। गीताप्रेस ने गीता, रामायण, महाभारत, श्रीरामचरितमानस, कर्मकांड, दैनिक पूजा विधि व बाल साहित्य सहित अनेक पुस्तकों का प्रकाशन विभिन्न भाषाओं में किया है जो अनवरत रूप से जारी भी है। अभी तक वेदों का प्रकाशन गीताप्रेस से नहीं हुआ है। हालांकि वैदिक साहित्य से संबंधित तीन पुस्तकें प्रकाशित हुई हैं जिनमें वैदिक सूक्त संग्रह, पंचदेव अथर्वशीर्ष संग्रह व रुद्राष्टाध्यायी हैं।
वैदिक सूक्त संग्रह में सभी वेदों के महत्वपूर्ण सूक्त संग्रहित हैं, पंचदेव अथर्वशीर्ष में पंचदेवों- गणपति, शिव, देवी, नारायण व सूर्य के वैदिक मंत्र हैं। रुद्राष्टाध्यायी रुद्राभिषेक की पुस्तक है। इसके अलावा पहली बार शुक्ल यजुर्वेद के प्रकाशन का कार्य गीताप्रेस ने शुरू किया है। मूल श्लोकों की कंपोजिंग हो गई है। संपादन का कार्य चल रहा है। श्लोकों के नीचे उनका अर्थ नहीं दिया गया है। हालांकि पुस्तक में 60 पेज में संपूर्ण श्लोकों का सार प्रस्तुत किया गया है। पुस्तक लगभग 550 पेज की है। उत्तर भारत में जो भी कर्मकांड होते हैं प्राय: वे सभी शुक्ल यजुर्वेद से ही हैं। इसलिए गीताप्रेस ने सबसे पहले शुक्ल यजुर्वेद को प्रकाशित करने का निर्णय लिया है।
गीताप्रेस के ट्रस्टी देवीदयाल अग्रवाल का कहना है कि वेदों के शुद्ध पाठ को संरक्षित करने तथा इसके भावार्थ को जन सामान्य को पढ़ने के लिए उपलब्ध कराने के उद्देश्य से शुक्ल यजुर्वेद को प्रकाशित करने की योजना बनी है। पुस्तक में मूल श्लोकों को स्वरबोधक चिह्नों के साथ प्रकाशित किया जा रहा है ताकि लोग सही उच्चारण कर सकें।

Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.