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CAA Protest : गोरखपुर में सीएए पर बवाल की जांच के लिए पांच सदस्‍यीय एसआइटी गठित, अब सामने आएंगे साजिशकर्ता Gorakhpur News

जांच दल हर पहलू की जांच कर रिपोर्ट देगा। साथ ही यह भी सुनिश्चित करेगा कि किसी निर्दोष पर कार्रवाई न हो और कोई दोषी बचने भी न पाए।

By Satish ShuklaEdited By: Published: Mon, 30 Dec 2019 10:00 PM (IST)Updated: Mon, 30 Dec 2019 10:00 PM (IST)
CAA Protest : गोरखपुर में सीएए पर बवाल की जांच के लिए पांच सदस्‍यीय एसआइटी गठित, अब सामने आएंगे साजिशकर्ता Gorakhpur News

गोरखपुर, जेएनएन। नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के बवाल की साजिश किसने रची थी और पत्थरबाजी और तोडफ़ोड़ की घटनाओं में वास्तव में कौन लोग शामिल थे, जैसे सवालों का जवाब तलाश करने के लिए एसआइटी (विशेष जांच दल) का गठन किया गया है। एसएसपी डॉ. सुनील गुप्त के निर्देश पर गठित पांच सदस्यीय एसआइटी का नेतृत्व सीओ कोतवाली वीपी सिंह करेंगे। इस टीम का काम यह भी सुनिश्चित करना करना होगा कि किसी निर्दोष पर कार्रवाई न हो और कोई दोषी कार्रवाई की जद में आने से बच न जाए।

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मुकदमों की विवेचना अलग से होगी

बवाल के बाद कोतवाली और राजघाट थाने में दर्ज मुकदमों की विवेचना अलग से होगी। एसआइटी पूरे प्रकरण की जांच करेगी। इस मामले में दर्ज मुकदमों के विवेचक, जांच रिपोर्ट के आधार पर विवेचना आगे बढ़ाएंगे। एसआइटी में सीओ कोतवाली के अलावा पुलिस लाइंस में कार्यरत इंस्पेक्टर चंद्रिका प्रसाद, कोतवाली थाने के एसएसआइ संजीव कुमार व उप निरीक्षक विहारी यादव और क्राइम ब्रांच में तैनात उप निरीक्षक सादिक परवेज को शामिल किया गया है।

पुलिस पर हमला करने के लिए ईंटों के इंतजाम की भी होगी जांच

यह टीम बवाल शुरू होने से लेकर इस पर काबू पाए जाने तक की जांच करेगी। इसके अलावा बवाल में बाहरियों और स्थानीय तत्वों की भूमिका, बवाल से पहले ही घरों के सामने और छतों पर ईंट एकत्र किए जाने आदि की भी जांच करेगी।

ऐसे शुरू हुआ उपद्रव

सीएए के विरोध में 20 दिसंबर को जुमे की नमाज के बाद बवाल शुरू हुआ था। इससे पहले हाथ में काली पट्टी बांधे कुछ युवकों ने सीएए के विरोध में शाहमारूफ इलाके में दुकानें बंद कराई थीं। दोपहर की नमाज में भी वे काली पट्टी बांधकर शामिल हुए थे। नमाज खत्म होने के बाद वही युवक मदीना मस्जिद चौराहे पर पहुंच गए। रास्ते में बड़ी संख्या में उपद्रवी तत्व उनके साथ हो गए। मदीना मस्जिद चौराहे पर उन्होंने नागरिक सुरक्षा कोर के उप नियंत्रक सत्यप्रकाश सिंह और उनके सहयोगी विकास जालान पर हमला कर दिया था। इसी दौरान कोतवाली थाने के पास नखास चौराहे पर भीड़ ने पुलिस पर पथराव कर दिया था। आंसू गैस के गोले दागकर और लाठीचार्ज कर पुलिस ने किसी तरह से स्थिति पर नियंत्रण कायम किया। इसके बाद 27 दिसंबर को भी बवाल होने की आशंका थी लेकिन एक तो पुलिस किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पहले से तैयार थी, दूसरे समाज के जिम्मेदार लोग भी आगे आकर शांति और सौहार्द कायम रखने में भूमिका निभाई। स्थिति पूरी तरह से सामान्य होने के बाद एसएसपी ने एसआइटी का गठन कर जांच का आदेश दिया है।

हर पहलू की होगी जांच

इस संबंध में एसएसपी डा. सुनील गुप्‍ता का कहना है कि पूरे घटनाक्रम की निष्पक्ष जांच कराने के लिए एसआइटी का गठन किया गया है। जांच दल हर पहलू की जांच कर रिपोर्ट देगा। साथ ही यह भी सुनिश्चित करेगा कि किसी निर्दोष पर कार्रवाई न हो और कोई दोषी बचने भी न पाए। 


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