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Indian Railways: बिना दक्षता परीक्षा दिए प्रमोट हो गए रेलवे के 369 प्वाइंटमैन

North Eastern Railway लखनऊ मंडल के 369 प्वाइंटमैन बिना दक्षता परीक्षा दिए ही कांटावाला बन गए हैं। अब वे बढ़े हुए वेतनमान 1800 की जगह 1900 ग्रेड पे पर कार्य करेंगे। हालांकि 475 में से अभी भी 106 प्वाइंटमैंन की पदोन्नति नहीं हो पाई है।

By Pradeep SrivastavaEdited By: Published: Thu, 17 Jun 2021 07:05 AM (IST)Updated: Thu, 17 Jun 2021 07:05 AM (IST)
रेलवे के 369 प्वाइंटमैन बिना दक्षता परीक्षा दिए ही प्रमोट कर दिए गए। - प्रतीकात्मक तस्वीर

गोरखपुर, जेएनएन। पूर्वोत्तर रेलवे के रेल लाइनों पर 1800 ग्रेड पे पर कार्य करने वाले प्वाइंटमैनों के लिए अच्छी खबर है। लखनऊ मंडल के 369 प्वाइंटमैन बिना दक्षता परीक्षा दिए ही कांटावाला बन गए हैं। अब वे बढ़े हुए वेतनमान 1800 की जगह 1900 ग्रेड पे पर कार्य करेंगे। हालांकि, 475 में से अभी भी 106 प्वाइंटमैंन की पदोन्नति नहीं हो पाई है।

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नरमू दफ्तर पहुंचकर कर्मियों ने महामंत्री केएल गुप्ता के प्रति जताया आभार

पदोन्नति से खुश लखनऊ मंडल के दर्जनों प्वाइंटमैन बुधवार को गोरखपुर स्थित एनई रेलवे मजदूर यूनियन (नरमू) के कार्यालय पहुंचकर महामंत्री केएल गुप्ता के प्रति आभार जताया। महामंत्री ने रेलवे प्रशासन के इस फैसले का स्वागत करते हुए जल्द ही शेष प्वाइंटमैनों की पदोन्नति का भी भरोसा दिया। इस दौरान उन्होंने लखनऊ के वरिष्ठ मंडल परिचालन प्रबंधक से दूरभाष पर वार्ता कर समपार फाटकों पर तैनात गेटमैनों की ड्यूटी 12 से घटाकर आठ घंटे करने की मांग की।

नरमू की मांग पर समाप्त हुई दक्षता परीक्षा

वरिष्ठ मंडल परिचालन प्रबंधक ने आठ घंटे की ड्यूटी करने का आश्वासन दिया। दरअसल, नरमू ने महाप्रबंधक के साथ हुई स्थाई वार्ता तंत्र (पीएनएम) की बैठक में प्वाइंमैनों की पदोन्नति के लिए होने वाली दक्षता परीक्षा को समाप्त करने की मांग की थी। नरमू की मांग पर रेलवे प्रशासन ने दक्षता परीक्षा की अनिवार्यता समाप्त कर दी है।

चिकित्सा निदेशक से मिला पीआरएसएस का प्रतिनिधि मंडल

विभिन्न समस्याओं को लेकर पूर्वोत्तर रेलवे श्रमिक संघ (पीआरएसएस) का प्रतिनिधि मंडल बुधवार को ललित नारायण मिश्र केंद्रीय रेलवे चिकित्सालय के चिकित्सा निदेशक डा. उमेश से मिला। इस दौरान प्रतिनिधि मंडल ने सेवानिवृत्त रेलकर्मियों के 21 वर्ष से अधिक आयु के अविवाहित और पूरी तरह से आश्रित बच्चों को मेडिकल सुविधा मिलने में आ रही कठिनाइयों से अवगत कराया।

उन्होंने अन्य किसी प्रमाण पत्र या घोषणा पत्र की अनिवार्यता को समाप्त कराने के साथ ही पूर्व की भांति स्वयं की घोषणा पर बच्चाें को मेडिकल की सुविधा दिलाने की मांग की। प्रतिनिधि मंडल में बजरंगी दूबे, संजय त्रिपाठी, अजय कुमार यादव और योगेश चंद्र शुक्ल् आदि पदाधिकारी शामिल थे।


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