राष्ट्रपति और उनके कार्यक्रम को देखने के लिए मंदिर में यह थी व्यवस्था
गोरखनाथ मंदिर परिसर में राष्ट्रपति के कार्यक्रम को देखने के लिए भारी भीड़ उमड़ी थी। मंदिर परिसर में एलईडी की व्यवस्था कराई गई थी।
गोरखपुर, जेएनएन। गोरखनाथ मंदिर परिसर में महाराणा प्रताप शिक्षा परिषद संस्थापक सप्ताह समारोह के मुख्य महोत्सव को बड़ी संख्या में लोगों ने मंदिर परिसर के बाहर से देखा। हिन्दू सेवाश्रम के निकट लगाई गई एलईडी स्क्रीन के सामने पूरे कार्यक्रम के दौरान लोग जमे रहे।
अंदर न जा पाने वाले लोगों के लिए हिन्दू सेवाश्रम संघ के निकट एलईडी स्क्रीन लगाई गई थी। राष्ट्रपति को देखने की इच्छा से आए लोग प्रवेश द्वार के निकट पहुंच रहे थे। जिनके पास प्रवेश पास नहीं था उन्हें बाहर रोक दिया गया। लोग परिसर में इधर-उधर टहलते रहे। राष्ट्रपति के मंच पर आने के बाद अन्य लोग स्क्रीन से कुछ दूरी पर एकत्रित हो गए और पूरा कार्यक्रम देखा।
राष्ट्रपति को देखने आए छात्र-छात्राएं
कुछ स्कूल बंद होने के कारण छात्र-छात्राएं ड्रेस में ही राष्ट्रपति को देखने गोरखनाथ मंदिर पहुंचे। सरस्वती शिशु मंदिर आर्यनगर के आठवीं के छात्रों रविशकर, सर्वेश, बापी, अरविंद, रोहित व राम सेंगर ने बताया कि वे राष्ट्रपति को देखने आए हैं लेकिन अंदर नहीं जा पाए। महाराणा प्रताप महिला महाविद्यालय रमदत्तपुर की छात्राएं भी वहा पहुंची थीं। छात्राओं के अनुसार उन्हें बुलाया गया था। अंदर नहीं जा पायीं इसलिए एलईडी स्क्रीन पर ही राष्ट्रपति को देख रही हैं।
10 बजे के बाद बढ़ी चहल-पहल
राष्ट्रपति के आगमन को देखते हुए सुबह नौ बजे तक बहुत कम श्रद्धालुओं को मंदिर में प्रवेश दिया गया था। मंदिर पहुंचे राष्ट्रपति ने पूजा-अर्चना की, उसके बाद महाराणा प्रताप शिक्षा परिषद संस्थापक सप्ताह समारोह के मुख्य महोत्सव में पहुंचे। उनके मुख्य कार्यक्रम में जाने के बाद मंदिर में श्रद्धालुओं की चहल-पहल बढ़ी। सुबह 10 बजे के बाद उन्हें प्रवेश दिया गया। लंबे समय से इंतजार करने के कारण बड़ी संख्या में श्रद्धालु एकत्रित हो गए थे। उन्हें लाइन लगाकर एक-एक कर उन्हें प्रवेश दिया गया। राष्ट्रपति, राज्यपाल व मुख्यमंत्री की मौजूदगी में मंदिर परिसर में प्रवेश पाना इन श्रद्धालुओं के लिए काफी कौतूहल भरा था। मागलिक कार्यक्रमों में शरीक होने आए लोगों को भी मुख्य कार्यक्रम संपन्न होने तक इंतजार करना पड़ा।
मुस्तैद रहे सुरक्षा कर्मी
मंदिर परिसर में बड़ी संख्या में सुरक्षा कर्मी लगाए गए थे। चप्पे-चप्पे पर तैनात सुरक्षा कर्मियों ने पूरी तरह से जाच के बाद लोगों को अंदर जाने दिया।