पुलिस को मिली बड़ी सफलता, चोरी की पांच लग्जरी वाहन के साथ सात अंतरराज्यीय चोर गिरफ्तार Gorakhpur News
कुशीनगर जिले की कसया पुलिस व स्वाट टीम के हाथ बड़ी सफलता लगी। टीम ने फोरलेन पर हेतिमपुर के समीप एक ढाबे से अंतरराज्यीय वाहन चोर गिरोह के सात शातिरों को गिरफ्तार किया। उनके पास से चोरी के पांच लग्जरी वाहन बरामद हुए।
गोरखपुर, जेएनएन : कुशीनगर जिले की कसया पुलिस व स्वाट टीम के हाथ बड़ी सफलता लगी। टीम ने फोरलेन पर हेतिमपुर के समीप एक ढाबे से अंतरराज्यीय वाहन चोर गिरोह के सात शातिरों को गिरफ्तार किया। उनके पास से चोरी के पांच लग्जरी वाहन बरामद हुए। शातिरों की घेराबंदी में देवरिया जिले की महुआडीह पुलिस ने भी सहयोग किया। शातिरों के पास से तीन तमंचे, कारतूस व तीन चाकू व एक दर्जन मोबाइल व कई फर्जी नंबर प्लेट बरामद हुए।
चोरों का गिराेह था एक ढाबे पर
एसपी विनोद कुमार सिंह ने पत्रकारों को बताया कि स्वाट टीम को सूचना मिली कि अंतरराज्यीय वाहन चोरों का गिरोह चोरी के लग्जरी वाहनों के साथ हेतिमपुर-देवरिया तिराहा स्थित एक ढाबे पर मौजूद है। इस पर कसया पुलिस व स्वाट की संयुक्त टीम ने देवरिया के महुआडीह थाने की पुलिस को इसकी जानकारी देकर तिराहा पर पहुंच जांच शुरू कर दी।
पांच वाहनों को लिया कब्जे में
हरियाणा प्रांत के नंबर लगे पांच लग्जरी वाहनों को पुलिस ने कब्जे में ले लिया। वाहनों में बैठे एक महिला समेत कुल सात लोगों को नीचे उतार पुलिस ने उनसे वाहनों के कागजात मांगे। आनाकानी करने पर पुलिस ने सख्ती की तो वे बताए कि ये वाहन चोरी के हैं, जिसे बेचने वे बिहार जा रहे थे। पूछताछ में उनकी पहचान अक्षय सिंह निवासी कैलाना थाना गन्नौर जिला सोनीपत, जयपाल उर्फ इमरान सिंह निवासी रेहणा बस्ती गन्नौर, जिला सोनीपत हरियाणा, आतिश निवासी गली नंबर एक बाकनेर नरेला थाना नरेला दिल्ली वेस्ट, जगदीप उर्फ जग्गी निवासी न्यू माडल टाउन जाटल रोड पानीपत हरियाणा, सागर मकान नंबर 161 जटल थाना माडल टाउन जिला पानीपत हरियाणा, तलजिंदर सिंह निवासी शिवा थाना पानीपत सिटी जिला पानीपत हरियाणा हाल मुकाम जहासा रोड निकट भद्र काली मंदिर जिला कुरुक्षेत्र हरियाणा व 17 वर्षीय किशोरी के रूप में हुई।
ऐसे चुराते थे वाहन
एसपी ने बताया कि यह गिरोह हरियाणा व पानीपत में खड़े वाहनों को अपना शिकार बनाता था। गाड़ियों का डैश बोर्ड वायर हटाकर स्कैनर मशीन से कोड की कापी करके गाड़ी की दूसरी चाबी तैयार कर लेते थे। फिर वह गाड़ी चोरी हो जाती थी। गाड़ी पर फर्जी नंबर प्लेट लगाकर बिहार में ले जाकर उसे बेच देते थे। गाड़ियों का कागजात नहीं होने पर ये साथ में महिला रखते थे, जिससे कि कोई शक न कर सके। सुरक्षा के लिए अवैध असलहे भी रखते थे।