मां ने दस हजार रुपये में बेचा था अपने दो माह के मासूम को, जानें-क्या थी मजबूरी Gorakhpur News
नौसढ़ बेलदारी टोला निवासी जयसिंह शुक्रवार की रात घर के बरामदे में पत्नी शिमला देवी बड़ा बेटा महंत बेटी आरती व दो माह के पुत्र सुंदरम के साथ सोए हुए थे। भोर में सुंदरम को गायब देख पूरा परिवार सन्न रह गया था।
गोरखपुर, जेएनएन। गीडा थाना क्षेत्र के नौसढ़ से शुक्रवार की रात गायब हुए मासूम को गीडा पुलिस ने बरामद कर लिया। गरीबी से तंग आकर मां शिमला देवी ने अपने कलेजे के टुकड़े को एक बिचौलिए के माध्यम से एक महिला को 10 हजार रुपये में बेच दिया। शिमला ने यह जानकारी अपने पति से भी छिपाए रखी। पुलिस ने शिमला सहित तीनों आरोपितों को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया।
नौसढ़ बेलदारी टोला निवासी जयसिंह शुक्रवार की रात घर के बरामदे में पत्नी शिमला देवी, बड़ा बेटा महंत, बेटी आरती व दो माह के पुत्र सुंदरम के साथ सोए हुए थे। भोर में सुंदरम को गायब देख पूरा परिवार सन्न रह गया था। बाद में घटना की जानकारी पाकर पुलिस ने बच्चे की तलाश शुरू की। जय सिंह के घर के पास लगे सीसी कैमरे की फुटेज देखने पर पता चला कि शिमला खुद अपने बच्चे के साथ जाती दिखीं। इस पर पुलिस को संदेह हुआ तो वह उनसे पूछताछ शुरू कर दी। हल्का दबाव पड़ने पर उसने पुलिस को पूरी जानकारी दे दी।
गरीबी से तंग आकर शिमला देवी ने बेच दिया था बच्चा
उसने बताया कि बेटे को गोरखनाथ थाना क्षेत्र के सूर्यबिहार कालोनी निवासी शंभू सिंह पुत्र दूधनाथ के जरिये एक महिला से 10 हजार रुपये में बेच दिया। शिमला ने बताया कि गरीबी के चलते परिवार के भरण-पोषण में कठिनाई आ रही थी। इसलिए वह तीसरा बच्चा नहीं चाहती थी। सुंदरम के जन्म से पूर्व वह पति पर गर्भपात के लिए दबाव बनाने लगीं। लेकिन वह इसके लिए राजी नहीं हुआ। शंभू सिंह को हिरासत में लेने के बाद पुलिस ने सोमवार शाम चार बजे के करीब बच्चे को देवरिया जिले के रामपुर कारखाना थाना क्षेत्र के विशुनपुर कला निवासिनी रंभा देवी पत्नी नौमी प्रसाद के पास से बरामद किया। पुलिस ने तीनों आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार करने वाली टीम में नौसढ़ चौकी प्रभारी दीपक सिंह, सिपाही अभिनंदन गुप्ता, मीनू राय शामिल रहीं।
पीड़ित के घर के बगल में आरोपित शंभू सिंह की ससुराल
नौसढ़ बेलदारी टोला निवासी पीडित जयसिंह के बगल में ही बिचौलियां की भूमिका निभाने वाले शंभू सिंह की ससुराल है। वह वहां जाने पर मासूम की मां से मिला था। शंभू एक सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करता है और एक अनाथ आश्रम पर देवरिया की रंभा देवी से मुलाकात हुई थी। शंभू ने उन्हें बच्चा दिलाने का वादा किया था।
तीन बजे भोर में मां ने महिला को दिया था बच्चा
गायब बच्चे के साथ गिरफ्तार रंभा देवी ने बताया कि वह शंभू के कहने पर शिमला देवी से मिली थी। वह बच्चा नहीं पालना चाह रही थी। उनकी सहमति के बाद 27 की रात को महिला नौसढ़ में खड़ी रही और तीन बजे भोर में जय सिंह के घर जाकर बच्चे को लेकर चली गई। हालांकि कुछ दूर महिला को बच्चे को छोड़ने उसकी मां भी गई थी।
पति को नहीं बता फंस गई शिमला
बच्चे को दूसरी महिला को देने वाली जय सिंह की पत्नी शिमला देवी ने पूरी घटना पति से छिपाए रखी। पति से बताए बिना ही उसने बच्चे को दूसरी महिला को दे दिया था। यहां तक की इसकी जानकारी पुलिस को देने के बाद भी वह चुप रही।