गोरखपुर में वॉट्सऐप पर हथियारों की सप्लाई, पिस्टल 30 और तमंचा 5 हजार का, तस्वीर भेजकर पसंद कराते थे असलहा
Gorakhpur News गोरखपुर पुलिस ने मुठभेड़ में तस्करों को गिरफ्तार किया है। वॉट्सऐप पर असलहे की फोटो भेज पसंद आने पर बेचते थे। लूट में इस्तेमाल हुए थे असलहे। रेट कर रखे थे फिक्स। लुटेरों से बरामद हुए हथियार।
गोरखपुर, जागरण टीम। वॉट्सऐप पर असलहे की फोटो भेजकर पसंद आने पर आपूर्ति देने वाले चार तस्करों को गुलरिहा थाना पुलिस ने सोमवार की रात मुठभेड़ में गिरफ्तार किया है। आरोपितों के कब्जे से एक पिस्टल, तीन तमंचे और कारतूस बरामद हुए। गिरोह का सरगना पहले से जेल में निरुद्ध है। आरोपितों द्वारा बेचे गए असलहे का इस्तेमाल भटहट में गैस एजेंसी के मैनेजर से 6.24 लाख की लूट में हुआ था।
लूट में पिस्टल का हुआ था इस्तेमाल
एसपी नार्थ मनोज कुमार अवस्थी व एएसपी/सीओ चौरी चौरा मानुष पारीख ने मंगलवार की दोपहर पुलिस लाइन में प्रेस वार्ता कर बताया कि बीते 13 फरवरी को शिव शक्ति गैस एजेंसी के मैनेजर से भटहट में 6.24 लाख रुपये की लूट हुई थी। जिसका पुलिस ने पर्दाफाश करते हुए लुटेरों को पकड़ा था और कुछ असलहे भी बरामद किए थे। अनावरण के समय जानकारी मिली थी कि जिस पिस्टल का प्रयोग लूट में हुआ था वह तेज प्रताप साहनी ने लुटेरे अनिरुद्ध को बेचा था।
चार तस्कर पकड़े
सूचना के आधार पर पुलिस ने असलहा तस्करी करने वाले गिरोह से जुड़े गुलरिहा थाना के भेलीनपुर महराजगंज निवासी तेज प्रताप साहनी, महराजगंज टोला सेवई निवासी रविन्द्र निषाद, सियारामपुर निवासी कमलेश चौहान व रघुनाथपुर निवासी दीपक यादव को गिरफ्तार किया। पकड़े गए आरोपितों ने बताया कि वीरू सिंह ने उन्हें असलहा दिया था। डकैती के आरोप में वह बीते 24 जनवरी से जेल में निरुद्ध है।
30 हजार में बेचते थे पिस्टल
एसपी नार्थ ने बताया कि तेज प्रताप साहनी खरीदार के पास वॉट्सऐप के जरिये असलहे की फोटो भेजकर पसंद कराता था। फिर डील पक्का कर साथियों के साथ आपूर्ति देता था। 32 बोर की एक पिस्टल 30 हजार और 315 बोर तमंचा यह लोग पांच हजार रुपये में बेचते थे। पिस्टल व तमंचा बेचने पर उसे दो से तीन हजार रुपये का फायदा होता था। जेल में निरुद्ध वीरू से भी पुलिस पूछताछ करेगी। पुलिस के अनुसार तेज प्रताप पहले भी जेल जा चुका है। पकड़े गए दीपक यादव, रविन्द्र निषाद व कमलेश पहली बार जेल जा रहे हैं।
गोला में भी पकड़ा गया था गिरोह
गोला थाना पुलिस ने बीते 10 जनवरी को वॉट्सऐप के जरिये पिस्टल व तमंचा की तस्वीर भेज पसंद आने पर बेचने वाले गिरोह का पर्दाफाश किया था। गिरोह के सदस्य मध्य प्रदेश के उज्जैन से असलहा मंगाकर बेचते थे। आर्म्स एक्ट का मुकदमा दर्ज कर पुलिस ने आरोपितों को जेल भेजा था। गिरोह के सदस्य जयहिंद के मोबाइल से पुलिस को 60 लोगों के नाम व मोबाइल नंबर मिले जो इस गिरोह से जुड़े हैं, लेकिन पकड़े नहीं गए।