बदल जाएगी गीडा की सूरत, शीघ्र आवंटित होंगे 70 औद्योगिक प्लॉट Gorakhpur News
गीडा में नए उद्योगों के लिए 70 औद्योगिक प्लाटों के आवंटन करने की तैयारी शुरू हो गई है।
गोरखपुर, जेएनएन। गोरखपुर औद्योगिक विकास प्राधिकरण (गीडा) औद्योगिक विकास की ओर तेजी से कदम बढ़ा रहा है। नए उद्योग लगाने के लिए जमीन उपलब्ध कराने की कवायद शुरू हो गई है। नए उद्योगों के लिए 70 औद्योगिक प्लाटों के आवंटन करने की तैयारी की गई है। गीडा के सेक्टर-15 में स्थित इन प्लाटों का क्षेत्रफल 500 वर्ग मीटर से लेकर साढ़े तीन एकड़ तक होगा। इसके लिए जल्द ही नोटिफिकेशन जारी किया जाएगा।
उद्यमियों को मिलेगी राहत
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आदेश के बाद से गीडा प्रशासन औद्योगिक विकास के लिए कोई कोर कसर नहीं छोड़ रहा है। उद्यमियों की ओर से लगातार उद्योगों के लिए जमीन उपलब्ध कराने की मांग की जा रही है। गीडा के इस कदम से उद्यमियों को काफी राहत मिलने वाली है।
बोक्टा में भी आवंटित होंगेे 10 औद्योगिक प्लॉट
गीडा प्रशासन सेक्टर 15 के अलावा बोक्टा में भी व्यवसायिक प्लॉट आवंटित करने की तैयारी कर रहा है। हालांकि अभी इसमें कुछ माह की देर होगी लेकिन 10 व्यवसायिक प्लॉटों के आवंटन की तैयारी गीडा कर रहा है। मुख्य कार्यपालक अधिकारी संजीव रंजन ने कहा कि बोक्टा में 10 औद्योगिक प्लॉट आवंटित करने की तैयारी है। अभी इसको लेकर खाका तैयार किया जा रहा है।
उद्यमियों की मांग को देखते हुए 50 एकड़ में 70 औद्योगिक प्लॉट आवंटित करने की तैयारी है। छोटे और बड़े उद्यमियों की जरूरत और सुविधा को ध्यान में रखते हुए प्लॉट के क्षेत्रफल अलग-अलग होंगे। इसी महीने नोटिफिकेशन जारी हो जाएगा। - संजीव रंजन, मुख्य कार्यपालक अधिकारी, गीडा
एनजीटी में सुनवाई से पहले तैयारी में जुटा जीडीए
उधर, नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) में 10 फरवरी को रामगढ़ताल वेटलैंड के मामले में सुनवाई होनी है। इससे पहले प्राधिकरण तैयारियों में जुटा है। पांच फरवरी को लखनऊ में प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के चेयरमैन ने इससे जुड़े जीडीए सहित सभी विभागों के अधिकारियों की बैठक बुलाई है। इन अधिकारियों को अब तक की गई कार्रवाई की रिपोर्ट के साथ उपस्थित होना होगा। एनजीटी की हाईपावर कमेटी के पांच सौ मीटर दायरे में किसी भी तरह के निर्माण पर रोक लगाने की संस्तुति के बाद यहां मानचित्र पास नहीं हो रहे। प्राधिकरण ने इस दायरे में करीब 10 हजार निर्माण चिह्नित किए हैं, इनमें जीडीए के ही करीब पांच हजार मकान शामिल हैं। जीडीए की ओर से तैयार की जा रही रिपोर्ट में इस बात का उल्लेख किया जा रहा है कि उसकी ओर से एन्वायरमेंटल क्लीयरेंस के लिए आवेदन की तैयारी है। लोहिया एंक्लेव के आवंटियों की दिक्कत का जिक्र भी रिपोर्ट में किया जा रहा है।