गोरखपुर में टीबी से ग्रसित बच्चों की सेहत का ख्याल रखेगा इंजीनियरिंग विश्वविद्यालय
डिप्टी रजिस्ट्रार देवेंद्र का कहना है कि संवाद कार्यक्रम के माध्यम से बच्चों की तबीयत की अद्यतन जानकारी हासिल की जाएगी और इलाज को लेकर उनकी जरूरतों को पूरा किया जाएगा। संवाद के बाद विश्वविद्यालय टीबी ग्रसित बच्चों के निरंतर संपर्क रहेगा।
गोरखपुर, जागरण संवाददाता। मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय ने टीबी से ग्रसित बच्चों की चिंता की है। विश्वविद्यालय ने उनकी सेहत और खानपान की दुरूस्तगी सुनिश्चित करने की योजना बनाई है। इसे लेकर उनकी समस्या से अवगत होने के लिए परिसर में 23 जुलाई को एक संवाद कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है। आयोजन में आमंत्रित करने के लिए बच्चों की सूची तैयार कर ली गई है। एक-एक कर आमंत्रित करने की प्रक्रिया भी शुरू कर दी गई है।
डिप्टी रजिस्ट्रार को सौंपी गई जिम्मेदारी
प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के इस वर्ष के दीक्षा समारोह में कुलाधिपति के तौर पर हिस्सा लेने के दौरान राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने विश्वविद्यालय प्रशासन को टीबी से पीडि़त बच्चों की चिंता करने की सलाह दी थी। उनकी सलाह को कुलपति ने निर्देश के तौर पर लिया और तत्काल इस दिशा में काम करना शुरू कर दिया। इसे लेकर तैयार होने वाली योजना का क्रियान्वयन बेहतर ढंग से हो सके, कुलपति ने एक समिति का गठन करके उसके समन्वयक की जिम्मेदारी डिप्टी रजिस्ट्रार देवेंद्र गोस्वामी को सौंप दी। विश्वविद्यालय के चिकित्सक को समन्वयक के चिकित्सीय सहयोग के लिए लगाया। समिति ने जिला प्रशासन से जिले के टीबी ग्रसित बच्चों की सूची मांगी तो उन्हें तत्काल 50 बच्चों की सूची उपलब्ध करा दी गई। इनमें से 30 बच्चों और उनके अभिभावकों से फोन से संपर्क साधने में विश्वविद्यालय सफल हो गया है। अब उनकी सेहत और इलाज में आ रही दिक्कत को जानने के लिए संवाद कार्यक्रम का आयोजन कर रहा है।
बच्चों से नियमित संपर्क में रहेगा विवि
डिप्टी रजिस्ट्रार देवेंद्र का कहना है कि संवाद कार्यक्रम के माध्यम से बच्चों की तबीयत की अद्यतन जानकारी हासिल की जाएगी और इलाज को लेकर उनकी जरूरतों को पूरा किया जाएगा। संवाद के बाद विश्वविद्यालय टीबी ग्रसित बच्चों के निरंतर संपर्क रहेगा। आवश्यकता पडऩे पर दवा से लेकर डाक्टरी सलाह का भी इंतजाम करेगा। इलाज के दौरान जरूरत पडऩे पर गरीब बच्चों के लिए पौस्टिक आहार का इंतजाम किया जाएगा। बीमारी को लेकर मानसिक रूप से परेशान बच्चों की काउंसलिंग भी विवि कराएगा। इस योजना से विवि ने विद्यार्थियों को भी जोड़ा जाएगा।
50 बच्चों की सेहत का ख्याल रखने की योजना
एमएमएमयूटी कुलपति प्रो. जेपी पांडेय का कहना है कि विश्वविद्यालय ने फिलहाल टीबी से ग्रसित कुल 50 बच्चों की सेहत का ख्याल रखने की योजना बनाई है। इसके लिए 30 बच्चों से संपर्क किया जा चुका है। जल्द ही 20 अन्य बच्चों को भी चिन्हित कर लिया जाएगा। बच्चों के पूरी तरह ठीक होने तक विश्वविद्यालय उनके संपर्क में रहेगा। स्वास्थ्य विभाग से समन्वय स्थापित करके उनके इलाज में कोई दिक्कत नहीं आने दी जाएगी।