आधुनिक असलहे पकड़ना भी नहीं जानते, चलाएंगे कैसे Gorakhpur News
करीब 250 कांस्टेबल हेड कांस्टेबल ऐसे हैं जिन्हें इंसास के अलावा कई आधुनिक असलहों के बारे में जानकारी तक नहीं। प्रशिक्षण वाले पुलिसकर्मी आधुनिक असलहों को कैसै हैंडिल करेंगे।
गोरखपुर, जेएनएन। पुलिस महकमे से थ्री नाट थ्री रायफल की विदाई होने के बाद महकमे में आधुनिक असलहों का बेड़ा बढ़ाया जा रहा है। इन पुराने रायफल की जगह जल्द ही डेढ़ सौ इंसास रायफल महराजगंज जिले को मिलेगी। पुलिस अधीक्षक रोहित सिंह सजवान नए असलहों के लिए शासन में प्रस्ताव भेजेंगे। वहीं पुलिस लाइन के मालखाने में पहले से रिजर्व रखे गए इंसास, एके-47, एसएलआर, 9 एमएम पिस्टल व कारबाईन को आवश्कता अनुसार सभी थानों में उपलब्ध करा दिया गया है। अकेले कोतवाली में सबसे अधिक 25 इंसास रायफल दी गई है।
अप्रशिक्षित पुलिसकर्मियों से कैसे चलेगा असलहा
वर्ष 2004 बैच से पहले पुलिस फोर्स में इंसास की ट्रेनिंग नहीं दी गई। ट्रेनिंग के दौरान असलहों के बारे में जरूरत बताया जाता है। अब सवाल उठता है कि बिना प्रशिक्षण वाले पुलिसकर्मी आधुनिक असलहों को कैसै हैंडिल करेंगे। इनकी संख्या छोटी भी नहीं है। करीब 250 कांस्टेबल, हेड कांस्टेबल ऐसे हैं, जिन्हें इंसास के अलावा कई आधुनिक असलहों के बारे में जानकारी तक नहीं। इसके अलावा इस संबंध में जिन्होंने प्रशिक्षण लिया है , वह भी जांच में गच्चा खा जाते हैं । इन पुलिसकर्मियों को अब अभ्यस्त कराया जाएगा।
रविवार को होगी ट्रेनिंग
बिना इंसास प्रशिक्षित पुलिसकर्मियों को थाने में असलहा खोलने और बांधने की जानकारी दी जाएगी। थाने में आर्मोरर को भेजा जाएगा , ताकि पुराने पुलिसकर्मी आधुनिक असलहों की बारीकी समझ सकें। एसपी ने सभी एसएचओ को निर्देश दिए हैं कि जिन पुलिसकर्मियों को इंसास और इसके अलावा अन्य आधुनिक असलहों के बारे में जानकारी नहीं है, उसे थाने स्तर पर अभ्यस्त कराया जाए। इसके लिए रविवार का दिन चुना गया है।
होगा अभ्यास
महराजगंज के पुलिस अधीक्षक रोहित सिंह सजवान का कहना है कि थ्री नाट थ्री की जगह पहले से रिजर्व इंसास को थानों में भेजवा दिया गया है। अभी और डिमांड होनी है। जिन पुलिसकर्मियों ने इंसास का प्रशिक्षण नहीं लिया है। उन्हें रविवार को थाने में अभ्यास कराया जाएगा।