अब तस्वीर उजागर करेगी राशन वितरण का सच
आए दिन सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत राशन की दुकानों से होने वाले वितरण पर सच अब सामने आएगा
गोंडा: आए दिन सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत राशन की दुकानों से होने वाले वितरण पर सवाल उठाए जा रहे हैं। कभी कार्ड धारक समय से राशन न मिलने की बात कह रहे हैं तो कभी घटतौली की शिकायत कर रहे हैं। यह हाल तब है जब खाद्य विभाग के अधिकारियों को पर्यवेक्षण की जिम्मेदारी दी गई है। ऐसे में अब विभाग ने एक नई व्यवस्था बनाई है। इंस्पेक्शन एप विकसित किया गया है, इसमें पर्यवेक्षण में लगे पूर्ति विभाग के अधिकारियों को मौके पर जाकर रिपोर्ट करनी है। वहां से वह फोटो खींचकर उसे गूगल मैप से अपलोड करेंगे। ऐसे में अब घर बैठे मनमानी रिपोर्ट पर रोक लग सकेगी।
जिले में 1364 राशन की दुकानें हैं। इनके माध्यम से पात्र गृहस्थी के 520622 व अन्त्योदय के 65026 राशन कार्डधारकों को खाद्यान्न वितरण किया जा रहा है। सभी कार्डधारकों को उनके हिस्से का अनाज मिल सके। इसके लिए पर्यवेक्षणीय अधिकारी लगाए गए हैं। माना जा रहा है कि अधिकांश अधिकारी मौके पर बिना गए ही मनमानी रिपोर्ट लगा देते थे। इससे कार्डधारकों को राशन न मिलने वाली शिकायतों की संख्या बढ़ती ही रहती थी। सरकार ने अब नई व्यवस्था लागू की है। इसके तहत पूर्ति विभाग के पर्यवेक्षीण अधिकारी के लिए इंस्पेक्शन एप विकसित किया गया है। इस एप के माध्यम से रिपोर्ट लगाने के लिए संबंधित अधिकारी को राशन की दुकान पर जा कर वहां की फोटो खींचकर व खाद्यान्न वितरण तथा राशन की उपलब्धता की ऑनलाइन रिपोर्ट देनी होगी। इससे मनमानी पर रोक तो लगेगी ही साथ ही सभी कार्डधारकों को उनके हिस्से का अनाज मिलने की राह सरल होगी।
नई व्यवस्था से भेजी जाए रिपोर्ट
-अपर आयुक्त खाद्य सुनील वर्मा ने डीएसओ व पूर्ति निरीक्षकों को उचित दर दुकानों का निरीक्षण कर नई व्यवस्था के तहत इंस्पेक्शन एप के माध्यम से रिपोर्ट देने के निर्देश दिए हैं।