Move to Jagran APP

खतरे के निशान के करीब पहुंची गंगा, तटवर्ती इलाकों में दहशत

अगाजीपुर गंगा का जलस्तर खतरें का निशान छूने के करीब पहुंच चुका है। इसका जलस्तर बढ़ाने के कारण अन्य नदियां भी उफान पर है। जलस्तर की रफ्तार को देखते हुए जिला प्रशासन की तेयारियां पूरी हो चुकी है। जिला मुख्यालय सहित सभी सातों तहसील में एक-एक कंट्रोल रूम बना दिया गया है।

By JagranEdited By: Published: Mon, 19 Aug 2019 09:50 PM (IST)Updated: Tue, 20 Aug 2019 06:22 AM (IST)
खतरे के निशान के करीब पहुंची गंगा, तटवर्ती इलाकों में दहशत
खतरे के निशान के करीब पहुंची गंगा, तटवर्ती इलाकों में दहशत

जासं, गाजीपुर : तेजी से बढ़ रहा गंगा का जलस्तर खतरे का निशान छूने को बेताब है। गंगा का जलस्तर बढ़ाने के कारण अन्य सहायक नदियां भी उफान पर हैं। जलस्तर की रफ्तार को देखते हुए संभावित बाढ़ से निबटने के लिए जिला प्रशासन की तैयारियां तेज हो गईं है। जिला मुख्यालय सहित सभी सातों तहसील में एक-एक कंट्रोल रूम बना दिया गया है। हालात से निबटने के लिए जिले में 92 बाढ़ चौकियां बनाई गई हैं। गंगा का जलस्तर छह सेमी प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ रहा है। सोमवार की शाम चार बजे गंगा का जलस्तर 61.840 मीटर तक पहुंच चुका था। जलस्तर बढ़ने की रफ्तार अगर यही रही तो शीघ्र ही गंगा खतरे के निशान को पार कर जाएंगी। जलस्तर के बढ़ने की रफ्तार को देखते हुए तटवर्ती इलाकों में भय का माहौल व्याप्त है। लोग पलायन की तैयारी कर रहे हैं।

loksabha election banner

पहाड़ी इलाकों में बीते दिनों हुई भारी बारिश से गंगा का जलस्तर बहुत तेजी से बढ़ रहा है। जलस्तर बढ़ने का सिलसिला पिछले पांच दिनों से जारी है जिसके चलते इससे जुड़ी अन्य नदियों का पानी भी फैलता जा रहा है। गंगा के रौद्र रूप को देखते हुए तटवर्ती इलाकों के लोगों की धुकधुकी बढ़ गई है। उन्होंने पशुओं का चारा एकत्र करना शुरू कर दिया है। कुछ तो पशुओं के साथ खुद भी पलायन की तैयारी कर रहे हैं। पानी बढ़ने से कटान का खतरा भी मंडराने लगा है। हालांकि सुबह आठ बजे के बाद से जलस्तर का बढ़ाव एक सेमी प्रति घंटा कम हुआ है लेकिन अभी भी छह सेमी से बढ़ती इसकी रफ्तार लोगों में खौफ पैदा कर रही है। उधर गंगा के बढ़ाव को देखते हुए प्रशासनिक तैयारियां अंतिम दौर में हैं। केंद्रीय जल कार्यालय के प्रभारी हसनैन ने बताया कि गंगा का जलस्तर पहले सात सेमी प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ रहा था जो अब घट कर छह सेमी पर आ गया है। फिर भी अगर यही रफ्तार रही तो शीघ्र ही गंगा खतरे के निशान को पार कर जाएंगी। रेवतीपुर क्षेत्र के नसीरपुर, हसनपुरा, बीरऊपुर, नगदिलपुर में बाढ़ का पानी फैलने लगा है। कई गांवों में पानी घुस गया और सड़कों के ऊपर से होकर बह रहा है।

गंगा संग कर्मनाशा भी उफान पर

जमानियां : गंगा के जलस्तर में वृद्धि होने से नगर के बलुआ घाट की सीढि़यां पानी में डूब गई हैं। वहीं शव जलाने के लिए बना सीमेंटेड चबूतरा भी पूरी तरह से जलमग्न हो गया है। इससे घाट पर पहुंचने वाले शव को ऊपर ही जलाया जा रहा है। कर्मनाशा नदी के जलस्तर में हो रही वृद्धि से तटवर्ती इलाके के दर्जनों गांवों के लोगों की चिता बढ़ गई है। गंगा नदी के पानी के बढ़ाव को देख ग्रामीण सहमे हुए हैं। कर्मनाशा के तटवर्ती गांव गायघाट, रायपुर, धुस्का, देहुड़ी, दाउदपुर, करमहरी, केशारुवा सहित अन्य गांव के लोग भयभीत हैं। तहसीलदार आलोक कुमार ने बताया कि गंगा के जलस्तर में हो रही वृद्धि को लेकर सचेत हो गए हैं। गंगा किनारे स्थित गांवों की निगरानी के लिए हल्का लेखपाल को निर्देश दिया गया है।

जिला मुख्यालय में बनाया गया कंट्रोल रूम

: बाढ़ से निबटने के लिए जिला मुख्यालय में कंट्रोल रूम बनाया गया है। इसके लिए कर्मचारियों की आठ-आठ घंटे की ड्यूटी लगाई गई है। हर दो-दो घंटे पर गंगा के जलस्तर की ताजा स्थिति दर्ज की जा रही है। इसके अलावा सभी सातों तहसीलों में कंट्रोल रूम बनाया गया है जिसकी जिम्मेदारी सभी एसडीएम व तहसीलदार को दी गई है।

जलस्तर में बढ़ोत्तरी से तटवर्ती गांव के ग्रामीण सशंकित

मुहम्मदाबाद : गंगा के जलस्तर में तेजी से हो रहे बढ़ोत्तरी से तटवर्ती कटान प्रभावित गांव सेमरा व शिवरायकापुरा के साथ शेरपुर के लोगों में बेचैनी बढ़ गई है। जलस्तर अगर इसी तरह बढ़ता रहा तो शिवरायकापुरा गांव के आगे साधु राय के डेरा के पास कटान का खतरा पैदा हो सकता है। कटान प्रभावित सेमरा गांव के पश्चिम सिरे से शिवराय का पुरा के आगे डीहबाबा स्थान तक बोल्डर पीचिग कर ठोकर का निर्माण करा दिया गया है। उसके आगे से साधु राय का डेरा से लेकर आगे तक किसी तरह का कार्य न कराए जाने से उसके आगे कटान के खतरे को लेकर ग्रामीण पूरी तरह से सहमे हुए हैं। जलस्तर बढ़ने के साथ ही साधु राय के डेरा के पास किनारे खड़ा कुआं रविवार को अचानक टूटकर गंगा में समाहित हो गया। इसके अलावा अगल-बगल की कुछ कृषि भूमि भी कटान की भेंट चढ़ गई। उसके उपरांत कटान नहीं हुआ। कटान रोकने के लिए सिचाई विभाग देवकली पंप कैनाल की ओर से उस जगह पर सोमवार को बालू भरी बोरी डालने के लिए मजदूरों को लगाया गया। इस संबंध में अधिशासी अभियंता राजेश कुमार शर्मा ने बताया कि फिलहाल कटान का कोई खतरा नजर नहीं आ रहा है। वैसे पहले ही सुरक्षा को देखते हुए बालू भरी बोरी डालने व पेड़ की टहनियों को काटकर डलवाने की व्यवस्था की गई है।

बढ़ी किसानों की चिता

भांवरकोल : गंगा के जलस्तर में हो रही लगातार वृद्धि से किसानों के चिता बढ़ गई है। काफी ऊंची दरों पर खेत लेकर और मिर्च व टमाटर तथा गोभी के महंगे बीज खरीद कर नर्सरी डालने व रोपाई करने वाले किसानों को आर्थिक नुकसान होने की आशंका सताने लगी है। जलस्तर बढ़ने से गंगा का पानी गंगा से निकलने वाले भागड़ नाले में फैलने लगा है और पानी भागड़ नाले में फिरोजपुर होते शेरपुर के सत्तर मौजे में पहुंच रहा है।

डूब गई बूढ़े महादेव की अधिकांश सीढि़यां

सैदपुर : गंगा के जलस्तर में निरंतर वृद्धि होने से तटवर्ती इलाके में रहने वाले लोग भयभीत हैं। रविवार को जलस्तर में ज्यादा बढ़ाव हुआ। बूढेनाथ महादेव घाट की अधिकांश सीढि़यां डूब गईं। सीढि़यों पर रखा नगर पंचायत का नारी परिधान कक्ष बह गया। औड़िहार स्थित बराह रूप घाट को सीढि़यां पूरी तरह जलमग्न हो गई हैं। घाट पर स्थित शिवमंदिर भी आधा डूब गया है। घाट पर जाने वाली सड़क डूबने से बच्चे साइकिल से अठखेलियां कर रहे हैं। साथ ही घाट के किनारे स्थित दर्जन भर किसानों की बाजरा, नेनुआ आदि की खेती भी जलमग्न हो गई है। इससे किसान परेशान हैं। पटना गांव के लोग भयभीत हैं कि अगर पानी और बढ़ा तो घरों तक पहुंच जाएगा।

गोमती के बढ़ाव से अफरा-तफरी

खानपुर : थाना क्षेत्र के गोमती किनारे बसे गांवों में नदी के जलस्तर में तेजी से आपाधापी मच गयी है। खरौना, नेवादा, नुरुद्दीनपुर, तेतारपुर, गौरहट, भुजाड़ी के गांवों में किसान नदी किनारे से अपने फसलों की निकालना शुरू कर दिए हैं। पिछले दो दिन से गंगा में बढ़ते जलस्तर की वजह से गोमती के पानी की तीव्रता बढ़ गयी है और पानी का बढ़ना लगातार जारी है। गोमती किनारे सब्जी और चारा फसलों की खेती करने वाले किसान सब्जियों को छोड़कर जा रहे हैं और ज्वार, बाजरा, तिलहन की फसलों को काटकर पशुओं के लिए चारे के इंतजाम कर रहे हैं।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.