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किसानों ने सीखे केंचुआ खाद बनाने के गुर

जासं, गाजीपुर : पीजी कालेज स्थित कृषि विज्ञान केंद्र में 11 जनवरी से चल रही भारतीय कृषि कौशल विकास योजना के तहत वर्मी कंपोस्ट उत्पादन एवं तकनीकी प्रशिक्षण रविवार को संपन्न हो गयी है। इस दौरान केचुआ पालन प्रशिक्षण में वर्मी कंपोस्ट तैयार करने की विधि बताई गयी। कार्यक्रम में जिले के 20 किसानों का चयन किया गया था।

By JagranEdited By: Published: Mon, 11 Feb 2019 08:28 PM (IST)Updated: Mon, 11 Feb 2019 08:28 PM (IST)
किसानों ने सीखे केंचुआ खाद बनाने के गुर

जासं, गाजीपुर : पीजी कालेज स्थित कृषि विज्ञान केंद्र में 11 जनवरी से चल रही भारतीय कृषि कौशल विकास योजना के तहत वर्मी कंपोस्ट उत्पादन एवं तकनीकी प्रशिक्षण रविवार को संपन्न हो गयी है। इस दौरान केचुआ पालन प्रशिक्षण में वर्मी कंपोस्ट तैयार करने की विधि बताई गयी। कार्यक्रम में जिले के 20 किसानों का चयन किया गया था।

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किसानो ने फसल सुरक्षा वैज्ञानिक ओमकार ¨सह से केचुआ खाद बनाने तथा उसकी बारीकियों के बारे में से जानकारी प्राप्त की। उन्होंने बताया कि रासायनिक खाद के प्रयोग से भूमि की उर्वरा शक्ति को कम कर रही है। किसानों को इससे बचने का प्रयास करना चाहिए। लगातार रासायनिक खाद का प्रयोग करने से भूमि की उर्वरा शक्ति नष्ट होती जा रही है तथा भूमि बंजर बनती जा रही है। पौधों का संपूर्ण विकास, मृदा स्वास्थ्य तथा पर्यावरण की ²ष्टिकोण से केचुआ खाद एक सरल तथा सटीक विकल्प है। किसान कृषि अपशिष्ट पदार्थ व गोबर का प्रयोग कर के केंचुआ पालन कर सकते हैं। वर्मी कंपोस्ट खाद से किसान भूमि की उर्वरा शक्ति बढ़ाने के साथ. साथ अपने पैदावार को बढ़ा सकते हैं। इस खाद को बनाने में केचुओं का योगदान अहम है। इससे बेरोजगार युवकों एवं भावी पीढ़ी को रोजगार के अवसर प्रदान किए जा सकते हैं। कार्यक्रम का नेतृत्व केंद्र प्रभारी डा. दिनेश ¨सह ने किया।


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