व्यक्तिगत और सत्ता की राजनीति के खिलाफ थे चंद्रशेखर
जागरण संवाददाता गाजीपुर महान समाजवादी नेता पूर्व प्रधानमंत्री युवा तुर्क के नाम से राजनीति में विख्यात चंद्रशेखर की पुण्यतिथि बुधवार को समाजवादी पार्टी समता भवन पर मनाई गई। उनके चित्र पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित की गई। साथ ही उनके बताए रास्ते पर चलकर साम्प्रदायिक ताकतों के खिलाफ संघर्ष एवं देश के धर्मनिरपेक्ष स्वरुप की रक्षा करने का संकल्प लिया गया।
फोटो-16सी।
जागरण संवाददाता, गाजीपुर : महान समाजवादी नेता, पूर्व प्रधानमंत्री, युवा तुर्क के नाम से राजनीति में विख्यात चंद्रशेखर की पुण्यतिथि बुधवार को समाजवादी पार्टी समता भवन पर मनाई गई। उनके चित्र पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित की गई। साथ ही उनके बताए रास्ते पर चलकर साम्प्रदायिक ताकतों के खिलाफ संघर्ष एवं देश के धर्मनिरपेक्ष स्वरुप की रक्षा करने का संकल्प लिया गया।
जिलाध्यक्ष रामधारी यादव ने उनके व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर प्रकाश डाला। कहा कि वह एक ऐसे युवा तुर्क नेता थे जिन्होंने ²ढ़ता, ईमानदारी और साहस के साथ नि:स्वार्थ लड़ाई लड़ी। वह हमेशा व्यक्तिगत और सत्ता की राजनीति के खिलाफ रहे। उन्होंने हमेशा वैचारिक, लोकतांत्रिक मूल्यों एवं सामाजिक परिवर्तन की राजनीति का समर्थन किया। वह साहस और सत्य के प्रतीक थे। उनके मन में देश के गरीबों, शोषितों और पीड़ितों के लिए गहरी पीड़ा थी जिसकी झलक उनके उद्बबोधन के दौरान अक्सर दिखती थी। उन्होंने देशवासियों से मिलने एवं उनकी प्रमुख समस्याओं को समझने के लिए कन्याकुमारी से नई दिल्ली तक 4260 किलोमीटर की पदयात्रा की थी। आजीवन साम्प्रदायिक ताकतों की मुखालफत करते रहे। उनका मानना था कि नेता की हर बात को जनता को जानना चाहिए क्योंकि नेता जनता की नुमाइंदगी करता है। पूर्व जिलाध्यक्ष राजेश कुशवाहा, सदानंद यादव, निजामुद्दीन खां, अरुण कुमार श्रीवास्तव, तहसीन अहमद, दिनेश यादव, कन्हैयालाल विश्वकर्मा, रामलाल प्रजापति, प्रमोद यादव, रामनगीना यादव आदि थे।