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मिसाल: दूसरे गांवों के लिए रोल माडल बना भोवापुर, संक्रमण का एक भी केस नहीं

अभिषेक सिंह गाजियाबाद साफ-सफाई के लिए न केवल जिले में बल्कि प्रदेश में अपनी अलग पहचान रखने वाला गाजियाबाद के रजापुर ब्लाक का गांव भोवापुर में एक भी व्यक्ति अब तक कोरोना संक्रमित नहीं हुआ है। इसकी वजह गांव में साफ-सफाई की अच्छी व्यवस्था और ग्रामीणों का जागरूक होना बताया जा रहा है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 14 May 2021 07:44 PM (IST)Updated: Fri, 14 May 2021 07:44 PM (IST)
मिसाल: दूसरे गांवों के लिए रोल माडल बना भोवापुर, संक्रमण का एक भी केस नहीं
मिसाल: दूसरे गांवों के लिए रोल माडल बना भोवापुर, संक्रमण का एक भी केस नहीं

अभिषेक सिंह, गाजियाबाद : साफ-सफाई के लिए न केवल जिले में बल्कि प्रदेश में अपनी अलग पहचान रखने वाला गाजियाबाद के रजापुर ब्लाक का गांव भोवापुर में एक भी व्यक्ति अब तक कोरोना संक्रमित नहीं हुआ है। इसकी वजह गांव में साफ-सफाई की अच्छी व्यवस्था और ग्रामीणों का जागरूक होना बताया जा रहा है। यहां लोग घर से बाहर मास्क लगाकर निकलते हैं और समय-समय पर हाथों को धोते हैं। सैनिटाइजेशन और फागिग भी खुद ही करते हैं। जिला प्रशासन द्वारा भोवापुर गांव को अब जिले के दूसरे गांवो के लिए रोल माडल बताया जा रहा है। इससे लोगों को प्रेरणा लेने की अपील की जा रही है। इसलिए खास है यह गांव: शहर की कई कालोनियां ऐसी हैं, जहां रोजाना साफ-सफाई नहीं होती है, लेकिन भोवापुर गांव में कोई ऐसा दिन नहीं होता, जिस दिन सफाई के लिए कर्मचारी नहीं आते हों। यहां पर प्रत्येक घर से 30 रुपये मासिक शुल्क सफाई के लिए पंचायत निधि के खाते में जमा कराया जाता है। यह शुरुआत गांव के लोगों ने मिल-जुलकर की है। इसके अलावा यहां पर बड़ी संख्या में पौधारोपण भी पिछले पांच साल में हुआ है। पानी की बर्बादी पर रोक है। इससे गांव में गंदा पानी जमा होने की समस्या भी नहीं रहती है। जागरूक होने से लोग कोरोना से बचाव के नियमों का पालन करते हैं। बेवजह घरों से बाहर नहीं जाते है। मास्क लगाने और हाथ सैनिटाइज करने में लापरवाही नहीं करते हैं। तीन हजार से अधिक है जनसंख्या: 2011 की जनगणना के अनुसार गांव की आबादी 2,265 है, लेकिन अब यह संख्या 3,019 हो चुकी है। गांव में साफ-सफाई को लेकर न केवल बुजुर्ग बल्कि युवा भी उत्साहित रहते हैं। दीवारों पर भी सफाई के लिए जागरूक करने वाले स्लोगन लिखे हैं। कोरोना से बचाव के लिए जागरूक करने वाले बैनर, पोस्टर लगाए गए हैं। दूसरे गांवों के लिए मॉडल बनेगा गांव: कोरोना संक्रमण के मामले जिस तरह अब ग्रामीण क्षेत्र में सामने आ रहे हैं, ऐसे में अधिकारियों की चिता बढ़ रही है। संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए भोवापुर गांव को दूसरे गांवों के लिए माडल के रूप में प्रस्तुत किया जा रहा है, ताकि लोग साफ-सफाई और मास्क के लिए प्रेरित हो सकें और बीमारी को गांव से दूर भगा सकें।

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परिचर्चा

गांव के लोग जागरूक हैं। जिला प्रशासन और शासन द्वारा जारी किये गये दिशा-निर्देश का पालन करते हैं। मास्क, सैनिटाइजर का इस्तेमाल करते हैं। यही वजह है की गांव में कोरोना दस्तक नही दे सका है। - संदीप कुमार, ग्रामीण बयान

भोवापुर गांव में कोरोना का एक भी केस नहीं आने की वजह वहां की सफाई व्यवस्था और लोगों का कोरोना से बचाव के लिए जागरूक होना है। भोवापुर गांव की मिसाल देकर दूसरे गांव में लोगों को जागरूक किया जा रहा है। - अनिल कुमार त्रिपाठी, जिला पंचायत राज अधिकारी।


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