युवक की हत्या में तीन को आजीवन कारावास
ईसीएक्ट कोर्ट के जज शशिभूषण पांडेय ने उधारी के रुपयों का तकादा करने पर युवक की हत्या करने वाले तीन अभियुक्तों को उम्रकैद की सजा सुनाई है। साथ ही प्रत्येक अभियुक्त पर 15-15 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है। कोर्ट ने तीनों अभियुक्तों को आठ नवंबर को दोषी करार दिया था। सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता लोकेश कुमार ने बताया कि पिलखुआ में रहने वाला सूरज पड़ोस में रहने वाले प्रमोद देवा और ललित के साथ दिल्ली में नौकरी करता था। इन तीनों ने सूरज से रुपये उधार लिए थे। उधारी का तकादा करने पर तीनों सूरज से नाराज हो गए थे। चार जनवरी 2010 को तीनों सूरज को घर से बुलाकर ले गए।
जागरण संवाददाता, गाजियाबाद : ईसी एक्ट कोर्ट के जज शशिभूषण पांडेय ने उधारी के रुपयों का तकादा करने पर युवक की हत्या करने वाले तीन दोषियों को उम्रकैद की सजा सुनाई है। साथ ही प्रत्येक पर 15-15 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है। कोर्ट ने तीनों को आठ नवंबर को दोषी करार दिया था।
सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता लोकेश कुमार ने बताया कि पिलखुआ में रहने वाला सूरज पड़ोस में रहने वाले प्रमोद, देवा और ललित के साथ दिल्ली में नौकरी करता था। इन तीनों ने सूरज से रुपये उधार लिए थे। उधारी का तकादा करने पर तीनों सूरज से नाराज हो गए थे। चार जनवरी 2010 को तीनों सूरज को घर से बुलाकर ले गए। मगर सूरज वापस नहीं लौटा, जबकि तीनों वापस आ गए थे। सूरज के स्वजनों ने उसे सभी संभावित स्थानों पर तलाश किया। मगर कोई पता नहीं चला। सूरज की मां कमलेश ने 12 दिसंबर 2010 को मामले की रिपोर्ट दर्ज कराते हुए तीनों को नामजद कराया था। पुलिस ने रिपोर्ट के आधार पर तीनों को हिरासत में लिया। पूछताछ के दौरान तीनों आरोपितों ने सूरज की हत्या करने का जुर्म कबूल कर लिया था। पुलिस ने कोर्ट में चार्जशीट पेश कर दी थी। शुक्रवार को ईसी एक्ट कोर्ट(विशेष वस्तु अधिनियम) में मामले की अंतिम सुनवाई हुई। अदालत ने प्रमोद, देवा और ललित को हत्या करने का दोषी पाया। बुधवार को कोर्ट ने सजा के मामले पर सुनवाई करते हुए तीनों दोषियों को उम्रकैद की सजा सुनाई