गाजियाबाद की बेटी महाराष्ट्र में संक्रमितों का कर रहीं इलाज
मदन पांचाल गाजियाबाद कोरोना काल में एमबीबीएस के बाद पीजी करने महाराष्ट्र गई शहर की बे
मदन पांचाल, गाजियाबाद : कोरोना काल में एमबीबीएस के बाद पीजी करने महाराष्ट्र गई शहर की बेटी डा.रिधिमा सिंह वहां कोरोना संक्रमितों का इलाज कर रही है। मरीजों को कभी आक्सीजन लगाती हैं तो कभी मुस्कान बिखेरती हुई उनकी काउंसिलिग भी करती हैं। एक महीने में 75 संक्रमितों को ठीक करके वह घर भेज चुकी है तो 50 को स्वस्थ करने में जुटी हुई हैं।
मेडिकल कालेज को कोविड अस्पताल बनाए जाने के बाद उनकी ड्यूटी कोविड वार्ड में है। 28 वर्षीय रिधिमा वर्तमान में दत्ता मेघे चिकित्सा विज्ञान संस्थान, सरांगी वर्धा (महाराष्ट्र) में निडर होकर संक्रमितों का उपचार करने के साथ ही उनके स्वजन की भी मोबाइल के जरिये काउंसिलिग कर रही हैं। अपनी टीम के साथ संक्रमितों की देखभाल एवं उनका उपचार करने के अलावा उनके खानपान का इंतजाम भी वह खुद करवाती हैं। पीपीई किट पहनकर मरीजों का उपचार करके खुद का भी बचाव कर रही हैं। दरअसल वर्तमान में देश में सबसे अधिक कोरोना के केस महाराष्ट्र में ही आ रहे हैं।
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बेटी से रोज एक बार करती हैं बातचीत
शास्त्रीनगर निवासी रिधिमा की मां रेखा सिंह एवं पिता केएम सिंह गाजियाबाद में चिकित्सक हैं। रेखा सिंह अपनी बेटी से रोज वीडियो काल के जरिये बातचीत करके उसका हालचाल लेती हैं। कोविड प्रोटोकाल की गाइडलाइन समझाते हुए रिधिमा को सीख देती हैं कि महामारी में काम करना ही सबसे बड़ी चुनौती है। मरीजों से दूर भागने की जगह सावधानी बरतते हुए उनकी सेवा करनी चाहिए।
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त्वचारोग में कर रही हैं पीजी
कस्तूरबा गांधी मेडिकल कालेज मनीपाल से एमबीबीएस करने के बाद रिधिमा महाराष्ट्र से त्वचा रोग (डर्मेटोलाजी) में पीजी कर रही हैं। पहले साल में कोविड आने से कालेज में सभी को कोविड ड्यूटी में लगा दिया गया है। डा.रिधिमा बताती हैं कि पढ़ाई के साथ संक्रमितों का उपचार करना और लोगों को समझाना जटिल काम है लेकिन वह उसे बखूबी निभा रही हैं। रिधिमा ने हाईस्कूल और इंटरमीडिएट डीपीएस मेरठ रोड से और स्नातक की पढ़ाई विवेकानंद कालेज दिल्ली से की।