इंदिरापुरम में ग्रुप हाउसिग के भूखंड बेचने के लिए प्रयास शुरू
जीडीए ने इंदिरापुरम में ग्रुप हाउसिग के छह भूखंड बेचने के लिए प्रयास शुरू कर दिए हैं। कई बड़े बिल्डरों को जमीन दिखाई गई है। अधिकारियों का कहना है कि प्राधिकरण की आवंटन प्रक्रिया के तहत भूखंड बेचे जाएंगे। इनके बिकने से जीडीए को करीब 200 करोड़ रुपये की आय होगी। जिससे शहर के विकास को गति दी जा सकती है।
जागरण संवाददाता, गाजियाबाद : जीडीए ने इंदिरापुरम में ग्रुप हाउसिग के छह भूखंड बेचने के लिए प्रयास शुरू कर दिए हैं। कई बड़े बिल्डरों को जमीन दिखाई गई है। अधिकारियों का कहना है कि प्राधिकरण की आवंटन प्रक्रिया के तहत भूखंड बेचे जाएंगे। इनके बिकने से जीडीए को करीब 200 करोड़ रुपये की आय होगी। जिससे शहर के विकास को गति दी जा सकती है।
वर्ष 2005 में जीडीए ने ग्राम महीउद्दीनपुर कनावनी की जमीन का अधिग्रहण शुरू किया था। उस वक्त 229.54 एकड़ भूमि पर इंदिरापुरम एक्सटेंशन बसाने की योजना बनाई गई थी। करीब 60 एकड़ भूमि ही अधिग्रहित हो पाई। पूरी जमीन का अधिग्रहण मुमकिन न हो पाने के कारण प्राधिकरण ने इंदिरापुरम एक्सटेंशन की योजना को खत्म कर दिया। तय किया गया कि अधिग्रहण की गई जमीन को इंदिरापुरम आवासीय योजना का ही हिस्सा बनाकर ग्रुप हाउसिग और मकानों की प्लॉटिग की जाएगी। उसी आधार पर जीडीए ने ले-आउट तैयार किया। जिसमें सड़क, ड्रेन, पार्क की जमीन निकालने के बाद बची जमीन पर ग्रुप हाउसिग के आठ और कुछ मकानों के भूखंड निकाले। अब इनमें से ग्रुप हाउसिग के दो हजार वर्ग मीटर के तीन, चार हजार वर्ग मीटर के दो और तीन हजार वर्ग मीटर का एक भूखंड बेचने का प्रयास किया जा रहा है। चार बिल्डरों को भूखंड दिखाए गए हैं।
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ये है भूखंडों की खासियत
- एनएच-नौ बेहद करीब
- कुछ ही सालों में मेट्रो रेल कॉरिडोर बनेगा
- इंदिरापुरम की सभी सामुदायिक सेवाओं का लाभ मिलेगा
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इंदिरापुरम में ग्रुप हाउसिग के भूखंड बेचने के प्रयास शुरू कर दिए गए हैं। ये बिकते हैं तो जीडीए को अच्छी आय होगी। उससे शहर के बाकी विकास कार्यों को गति दी जाएगी।
- संतोष कुमार राय, सचिव, जीडीए