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यमुना में फिर बढ़ा पानी, कोर्रा-मुत्तौर मार्ग बंद

पिछले तीन दिन से घट रहा यमुना का जलस्तर मंगलवार को अचानक फिर बढ़ने लगा। सुबह छह बजे से पानी की बढ़त शुरू हुई जो देरशाम तक जारी रही। दतौली प्वाइंट करीब 75 सेंटी मीटर और ललौली प्वाइंट पर करीब 35 सेंटीमीटर की उंचाई तक पानी बढ़ा। पानी बढ़ने से एक बार फिर ललौली से कोर्रा मार्ग डूब गया है और इस मार्ग पर पड़ने वाले 23 गांवों का आवागमन ठप हो गया। वहीं एनडीआरएफ की टीम अब भी बाढ़ क्षेत्र में जमी हुई है और बाढ़ पर निगाह जमाए हुए है।

By JagranEdited By: Published: Tue, 24 Sep 2019 11:23 PM (IST)Updated: Wed, 25 Sep 2019 06:26 AM (IST)
यमुना में फिर बढ़ा पानी, कोर्रा-मुत्तौर मार्ग बंद
यमुना में फिर बढ़ा पानी, कोर्रा-मुत्तौर मार्ग बंद

जागरण टीम फतेहपुर: पिछले तीन दिन से घट रहा यमुना का जलस्तर मंगलवार को अचानक फिर बढ़ने लगा। सुबह छह बजे से पानी की बढ़त शुरू हुई जो देरशाम तक जारी रही। दतौली प्वाइंट करीब 75 सेंटीमीटर और ललौली प्वाइंट पर करीब 35 सेंटीमीटर की उंचाई तक पानी बढ़ा। पानी बढ़ने से एक बार फिर ललौली से कोर्रा मार्ग डूब गया है और इस मार्ग पर पड़ने वाले 23 गांवों का आवागमन ठप हो गया। वहीं एनडीआरएफ की टीम अब भी बाढ़ क्षेत्र में जमी हुई है और बाढ़ पर निगाह जमाए हुए है।

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यमुना का जल स्तर 102 मीटर से घटकर पिछले तीन दिनों में 96 मीटर तक पहुंच गया था, इसके चलते गांव छोड़कर उंचाई वाले स्थानों पर आ चुके लोग पुन: अपने अपने गांवों में पहुंच गए थे। अब पानी फिर बढ़ने लगा है तो लोगों के सामने गृहस्थी समेट कर पुन: उंचाई वाले स्थान पर पहुंचने की चुनौती बन गयी है। कोर्रा-मुत्तौर मार्ग में डेढ़ फिट पानी चढ़ने से इस मार्ग में पड़ने वाले घनश्याम का डेरा, कोर्रा कनक, मैनाही का डेरा, करैहा का डेरा, रासी का डेरा, ओनई, बेलखरा, देवरी, अढ़ई आदि गांवों का संपर्क टूट गया है। अब इन गांवों में भी पानी भरने रहा है। क्षेत्र के कई परिषदीय स्कूलों में पानी घुस गया है। उधर पानी बढ़ने से नुकसान का सर्वे करने में जुटी राजस्व की टीम को भी पैर पीछे खींचना पड़ गया है। सुबह से शाम तक लोग इस दहशत में रहे कि अगर पानी और बढ़ा तो उन्हें पुन: गांव खाली करना पड़ेगा। फिलहाल लोग अपने अपने गांवों में ही जमे हैं, अगर और पानी बढ़ा तो इन्हें गांव को खाली करना पड़ेगा। उधर यमुना में लगातार पानी बढ़ने से नदी के किनारे वाले ललौली, दसौली, उरौली, पल्टूपुरवा, चौभइया का डेरा, धनुहन का डेरा, दुखी का देडा, अढ़ावल आदि गांवों में दहशत फैल गयी है। शाम को एनडीआरएफ की टीम ने स्टीमर के जरिए यमुना में घूमकर बाढ़ के हालातों का जायजा लिया।

अब बेतवा की बाढ़ से बढ़ा यमुना में पानी

मध्य प्रदेश में बाढ़ का 16 लाख क्यूसेक पानी यमुना में छोड़ा गया तो जिले में 60 गांव बाढ़ की चपेट में आ गये थे। राहत व बचाव कार्य आज तक जारी रहे, अब तीन दिन से पानी घटने पर लोगों ने राहत की सांस ली थी। लेकिन मंगलवार की सुबह बेतवा की बाढ़ का पानी यमुना में उफनाकर आ गया। इससे एक बार फिर बाढ़ के हालात आ गए। बताते है कि ललितपुर के माताटीला बांध से भारी मात्रा में पानी बेतवा नदी में छोड़ा गया है। जो हमीरपुर के रास्ते यमुना तक पहुंच रहा है। यमुना के जल पर एक नजर

प्वाइंट 23 24 सितंबर बढ़ा जल स्तर

ललौली 98.05 98.35 35 सेंटी मीटर

दतौली 96.50 97.25 75 सेंटी मीटर

नोट-गंगा में पानी सामान्य स्थिति में हैं। ललौली-कोर्रा मार्ग पर इस तरह चढ़ा पानी

समय चढ़ा पानी

सुबह सात बजे 4 से 6 इंच तक

दोपहर 12 बजे एक फीट तक

शाम करीब छह बजे डेढ़ फीट सहायता का हर इंतजाम करेंगे: डीएम

डीएम संजीव सिंह ने कहा बाढ़ का पानी पिछले दिन से घट रहा था, आज पुन: पानी बढ़ने की सूचनाएं आ रही है। बाढ़ क्षेत्र के गांवों में सुविधा के हर इंतजाम पर प्रशासन की नजर है। हमारी टीमें नजर लगाए है। फिलहाल गांव खाली कराने के हालात नहीं है अगर पानी और बढ़ता है तो लोगों को विस्थापित कराकर बाढ़ चौकियों में रखा जाएगा।


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