रामगंगा में डूबा खतरे का निशान, गंगा पहुंचीं करीब
संवाद सहयोगी, अमृतपुर : रामगंगा के जलस्तर में खतरे का निशान डूब गया है और गंगा का जलस्तर
संवाद सहयोगी, अमृतपुर : रामगंगा के जलस्तर में खतरे का निशान डूब गया है और गंगा का जलस्तर भी बढ़कर खतरे के निशान के करीब पहुंच गया है। गंगा व रामगंगा के जलस्तर में लगातार हो रही वृद्धि से गंगापार क्षेत्र के 50 से अधिक गांव बाढ़ की चपेट में आ गए हैं। संपर्क मार्गों पर बाढ़ का पानी तेज धार के साथ बहने से आवागमन प्रभावित हो रहा है। ग्रामीण बाढ़ के पानी से निकलने को मजबूर हैं। नाव की व्यवस्था न होने से ग्रामीण जुगाड़ से बनाई नाव से आवागमन कर रहे हैं।
गंगा व रामगंगा के दोआबा क्षेत्र में गंगापार के गांव बसे हुए हैं। दोनों नदियों के उफान पर होने से गंगापार क्षेत्र के 50 से अधिक गांव बाढ़ की चपेट में आ गए है। रामगंगा का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर पहुंच जाने से तटवर्ती गांव के लोग खौफजदा हैं। रामगंगा की बाढ़ का पानी भावन, गैलहार, खाखिन, हीरानगर, चपरा, अस्लानपुर, उजीरपुर, बजीरपुर, कोलासोता व बड़ा गांव परतापुर गांव में भर गया है। खाखिन और रतनपुर संपर्क मार्ग पर तीन फीट से अधिक बाढ़ का पानी तेज धार के साथ बह रहा है। अहलादपुर कि बेघर ग्रामीणों ने खेतों में झोपड़ी डाल रखी है। बाढ़ का पानी झोपड़ियों के निकट पहुंच गया है, जिससे उनकी मुश्किलें और भी बढ़ गई। इनसेट
जुगाड़ की नाव से आवागमन कर रहे पीड़ित
गंगा की बाढ़ का पानी पट्टी भरखा, जोगराजपुर, रामपुर, सबलपुर, तीसराम की मड़ैया, सुंदरपुर, आशा की मड़ैया, उदयपुर, सैदापुर, सुंदरपुर, करनपुर घाट, बंगला, मंझा की मड़ैया गांव में 15 दिन से भरा है, जिससे ग्रामीणों का जनजीवन अस्त व्यस्त है। आशा की मड़ैया संपर्क मार्ग पर चार फिट पानी बह रहा है। नाव न मिलने से ग्रामीण बाढ़ के पानी से निकलने को मजबूर हैं। इमादपुर के निकट संपर्क मार्ग पर दो फिट से अधिक पानी तेज धार के साथ बह रहा है, जिससे सड़क पर बड़े बड़े गड्ढे हो गए है और आवागमन बाधित हो गया है। नाव मिलने से ग्रामीण प्लास्टिक के खाली डिब्बों से बनाई जुगाड़ की नाव से आवागमन कर रहे हैं। पीड़ितों को केरोसिन न बांटने पर कार्रवाई की चेतावनी
एसडीएम बृजकिशोर दुबे ने नाव से पहुंचकर जोगराजपुर के पीड़ितों की समस्याएं सुनीं। ग्रामीणों ने कोटेदार द्वारा केरोसिन न बांटने की शिकायत की। पीड़ितों ने पालीथीन दिलाने की मांग की। संपर्क मार्ग न होने से ग्रामीण नाव से आवागमन करते हैं। एसडीएम ने पीड़ितों को शरणालय में ठहरने के लिए कहा, लेकिन ग्रामीण शरणालय में जाने को तैयार नहीं हुए। एसडीएम ने कोटेदार इंद्रपाल को पीड़ितों को शाम तक केरोसिन वितरित करने के निर्देश दिए। एसडीएम ने बताया कि सभी कोटेदारों को केरोसिन का उठान करा दिया गया है। केरोसिन न बांटने पर कोटेदारों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। रामगंगा 20 व गंगा 5 सेंटीमीटर बढ़ीं
रामगंगा का जलस्तर 20 सेंटीमीटर बढ़कर खतरे के निशान के ऊपर 137.25 मीटर पर पहुंच गया है। खोह हरेली रामनगर से रामगंगा में 14739 क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। गंगा का जलस्तर 5 सेंटीमीटर बढ़कर खतरे के निशान के करीब 137.00 मीटर पर पहुंच गया है। नरौरा बांध से गंगा में 200483 क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। जिससे गंगा के जलस्तर में और वृद्धि होने की आशंका बढ़ गई है। गंगा व रामगंगा के खतरे का निशान 137.10 मीटर पर दर्ज है।