फर्जीवाड़े से सेना भर्ती में बरेली व फर्रुखाबाद के युवाओं के नाम
जागरण संवाददाता शाहजहांपुर सेना भर्ती फर्जीवाड़े में जेल भेजे गए पांचों आरोपितों की रि
जागरण संवाददाता, शाहजहांपुर : सेना भर्ती फर्जीवाड़े में जेल भेजे गए पांचों आरोपितों की रिमांड अवधि गुरुवार को पूरी हो गई। इस दौरान दो बार हुई पूछताछ में पुलिस को कई अहम जानकारियां मिली हैं। गिरोह ने जिन युवकों के फर्जी प्रपत्र बनवाए थे, उनमें फर्रुखाबाद व बरेली के युवा अधिक हैं। अब पुलिस इनको ट्रेस करने में जुट गई है।
10 नवंबर को बंडा के एक मकान से एसओजी व मिलिट्री इंटेलीजेंस ने सेना के रिटायर्ड सूबेदार व थाने में तैनात सिपाही समेत पांच लोगों को गिरफ्तार किया था। जिनके पास से बड़ी संख्या में मार्कशीट, अभिलेख, मोहरें व अन्य प्रपत्र बरामद हुए थे। पता चला कि आरोपित शैक्षिक व अन्य फर्जी प्रमाणपत्र बनाकर युवाओं को सेना में भर्ती कराते थे। 11 नवंबर को सभी को बरेली की सेंट्रल जेल भेज दिया गया। इसके बाद कोर्ट ने 18 से 26 नवंबर तक की रिमांड दी तो पुलिस ने आरोपितों से दो बार पूछताछ की। एक बार विवेचक एवं पुवायां सीओ नवनीत नायक ने सेंट्रल जेल में डेढ़ घंटे व दूसरी बार पुलिस कस्टडी लेकर 12 घंटे पूछताछ की।
जांच में पता चली ये बातें
गिरफ्तारी वाले दिन आरोपितों ने कहा था कि करीब सौ लोगों के शैक्षिक, निवास आदि फर्जी बनाकर दिए थे, जोकि सेना में भर्ती हो गए। इनमें करीब 70 बरेली व फर्रुखाबाद के होने की संभावना जताई जा रही। रिमांड पर कई के नाम-पाते मालूम चले हैं। इनकी सूची मिलिट्री इंटेलीजेंस को सौंपी जाएगी। पुलिस भी अपने स्तर से छानबीन करेगी। जहां इन लोगों की तैनाती है, वहां भी जांच कराई जाएगी।
इन पर हुई कार्रवाई
मेरठ जिले के कंकखेड़ा थाना क्षेत्र के श्रद्धापुरी कालोनी निवासी सेना के रिटायर्ड हवलदार सुरेश सोम उर्फ सोनू, गाजियाबाद जिले के भोजपुर थाना क्षेत्र के मुकीमपुर गांव निवासी हुकुम सिंह उसके बेटे परमवीर सिंह, हापुड़ जिले के पिलखुवा थाना क्षेत्र के बझेड़ा खुर्द गांव निवासी मुकेश कुमार व बंडा थाने में तैनात सिपाही मानवीर सिंह जेल में बंद हैं। वहीं फरार चल रहे आरोपित सिपाही मूलचंद्र व दूसरे आरोपित अरविद की लोकेशन तक ट्रेस नहीं हो सकी।
वर्जन
रिमांड पर पूछताछ में आरोपितों ने फर्रुखाबाद व बरेली के ज्यादातर युवाओं की भर्ती कराने की बात स्वीकारी है। सूची तैयार हो रही है। जल्द ही उन लोगों को ट्रेस करने के साथ ही अभिलेखों की पड़ताल भी होगी। इसके लिए संबंधित जिलों के एसपी से भी संपर्क साधा गया है।
एस आनंद, एसपी