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अविवि के अंटार्कटिका केंद्र में माइनस 14 डिग्री पर रिसर्च

अयोध्या अवध विश्वविद्यालय में एडवांस अंटार्कटिक इनवायरमेंट रिसर्च केंद्र अस्तित्व में आ गया। अब यहां माइनस 14 डिग्री सेल्सियस तापमान पर शोध कार्य किया जाएगा। बुधवार को कुलपति प्रो.मनोज दीक्षित ने इस केंद्र का उद्घाटन किया। यह प्रदेश के किसी विश्वविद्यालय में स्थापित होने वाला पहला अंटार्कटिक रिसर्च केंद्र है। इसकी स्थापना का मकसद वैश्विक स्तर पर विवि के शोध कार्य को पहचान दिलाना व अग्रणी बनाना है।

By JagranEdited By: Published: Wed, 20 Nov 2019 11:38 PM (IST)Updated: Thu, 21 Nov 2019 06:08 AM (IST)
अविवि के अंटार्कटिका केंद्र में माइनस 14 डिग्री पर रिसर्च
अविवि के अंटार्कटिका केंद्र में माइनस 14 डिग्री पर रिसर्च

अयोध्या : अवध विश्वविद्यालय में एडवांस अंटार्कटिक इनवायरमेंट रिसर्च केंद्र अस्तित्व में आ गया। अब यहां माइनस 14 डिग्री सेल्सियस तापमान पर शोध कार्य किया जाएगा। बुधवार को कुलपति प्रो.मनोज दीक्षित ने इस केंद्र का उद्घाटन किया। यह प्रदेश के किसी विश्वविद्यालय में स्थापित होने वाला पहला अंटार्कटिक रिसर्च केंद्र है। इसकी स्थापना का मकसद वैश्विक स्तर पर विवि के शोध कार्य को पहचान दिलाना व अग्रणी बनाना है। इसकी खासियत शोध केंद्र का शीतगृह हैं। इसके अतिरिक्त एक स्मार्ट क्लास रूम, दो आधुनिक लैब सहित अन्य सुविधाएं सुलभ हो गई हैं। इसका प्रमुख हिस्सा कोल्ड कक्ष है, जिसका तापमान हमेशा ही माइनस दस से चौदह डिग्री के बीच बना रहेगा। इसी कक्ष का उपयोग शोधार्थी अंटार्कटिका एवं अन्य दुर्लभ स्थान से लाए गए जैविक एवं अजैविक नमूनों को संरक्षित करने व इस पर शोध कार्य करने में किया जाएगा। शोध केंद्र की मदद से यहां का शोध उच्च स्तर करने में मदद मिलेगी। यह केंद्र में दुर्गम क्षेत्रों में कार्य करने का तरीका बताया जाएगा तथा ट्रेनिग दी जाएगी। इस केंद्र के प्रभारी प्रो.जसवंत सिंह ने केंद्र को और भी सुविधा से लैस किया जाएगा।

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उन्होंने बताया कि पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय भारत सरकार, काउंसिल ऑफ सांइटिफिक एंड इंस्डस्ट्रीयल रिसर्च, डिपार्टमेंट ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी से मदद लेने की दिशा में प्रयास किया जा रहा है। यथाशीघ्र सहायता प्राप्त होने की उम्मीद जताई। पर्यावरण, बायोकेमेस्ट्री, माइक्रोबायोलॉजी सहित अन्य पीएचडी विद्यार्थियों को यहां शोध का अवसर मिलेगा।


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