Move to Jagran APP

सिर्फ जिला मुख्यालय पर शेल्टर होम, गांवों में व्यवस्था नहीं

ग्रामीण क्षेत्रों में नहीं हो रहा निर्देशों का पालन स्वास्थ्य विभाग ने दे रखे हैं होम क्वारंटाइन के निर्देश

By JagranEdited By: Published: Mon, 30 Mar 2020 08:42 PM (IST)Updated: Tue, 31 Mar 2020 06:04 AM (IST)
सिर्फ जिला मुख्यालय पर शेल्टर होम, गांवों में व्यवस्था नहीं

एटा, जासं। सिर्फ जिला मुख्यालय पर ही शेल्टर होम बनाया गया है। ग्रामीण क्षेत्रों में ग्राम पंचायतों को निर्देश दिए गए हैं कि जिन गांवों में बाहर से लोग आ रहे हैं, उन्हें क्वारंटाइन करने के लिए गांव के स्कूलों में व्यवस्था की जाए या फिर वहां टेंट लगवाकर आइसोलेट किया जाए। इसके विपरीत गांवों में व्यवस्था नहीं की गई है, जबकि हजारों लोग बाहर से आ चुके हैं।

loksabha election banner

शहर में जिला पंचायत के जनेश्वर मिश्र सभागार को शेल्टर होम में तब्दील कर दिया गया है। इस शेल्टर होम में लोग आकर आराम करते हुए तो देखे गए, मगर क्वारंटाइन कोई भी नहीं था। हालांकि भोजन की व्यवस्था भी शेल्टर होम में की गई है। इसके अलावा जलेसर, अलीगंज तहसील केंद्रों पर भी शेल्टर होम नहीं हैं। मुख्यमंत्री ने आदेश दिया था कि जिले की ग्राम पंचायतों में स्कूलों को शेल्टर होम बना दिया जाए।

मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ. अजय अग्रवाल के निर्देश पर सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों के प्रभारियों ने बाहर से आए लोगों को सलाह दी है कि स्वेच्छा से क्वारंटाइन हो जाएं। वे लोगों से मिलने-जुलने से परहेज करें। 14 दिन तक उन्हें होम क्वारंटाइन रहना है, लेकिन इन आदेशों का ठीक से पालन होता नजर नहीं आ रहा। स्वास्थ्य विभाग ग्राम प्रधानों से भी जानकारी जुटा रहा है। अभी तक 25 फीसद गांवों के बारे में सूचनाएं नहीं मिली हैं। घरों में ही रह रहे बाहर से आने वाले श्रमिक:

दिल्ली, नोएडा, गाजियाबाद व पानीपत, महाराष्ट्र आदि स्थानों से आने वाले 20 हजार से ज्यादा लोग विभिन्न ग्राम पंचायतों में पहुंच चुके हैं। बागवाला क्षेत्र के नगला मढि़या में 40 श्रमिक महाराष्ट्र से आए हैं, हालांकि इनकी जांच रिपोर्ट निगेटिव आई है। प्रशासन फिलहाल तहसीलवार आकलन कर रहा है कि किस ग्राम पंचायत में कितने लोग बाहर के हैं। इसके लिए विकास खंडवार टीमें लगाईं गईं हैं। लेकिन अभी तक आंकड़ा एकत्रित नहीं हो पाया है, मगर जो अनुमान लगाया गया है वह कम से कम 20 हजार लोगों के बाहर से आने का है। जिलाधिकारी सुखलाल भारती ने टीमों को निर्देश दिए हैं कि गांवों से बाहर से आने वाले लोगों की संख्या एकत्रित की जाए। जनपद में 576 ग्राम पंचायतें हैं, जबकि राजस्व गांवों की तादाद 1400 है, इसलिए प्रशासन का कहना है कि सही आंकड़ा आने में अभी समय लग सकता है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.