विनियमितीकरण के लिए उच्च शिक्षा मंत्री से की जाएगी बात: डा.मनोज
लखनऊ विश्वविद्यालय एडेड कालेज टीचर्स एसोसिएशन (लुआक्टा) के अध्यक्ष डा.मनोज पांडेय ने कहा कि अनुदानित महाविद्यालय व विश्वविद्यालय स्ववित्तपोषित अनुमोदित शिक्षक संघ की मांगें जायज है।
देवरिया: लखनऊ विश्वविद्यालय एडेड कालेज टीचर्स एसोसिएशन (लुआक्टा) के अध्यक्ष डा.मनोज पांडेय ने कहा कि अनुदानित महाविद्यालय व विश्वविद्यालय स्ववित्तपोषित अनुमोदित शिक्षक संघ की मांगें जायज है। सरकार विनियमितीकरण की कार्रवाई जल्द पूरी करे। इसके लिए उच्च शिक्षा मंत्री से मिलकर चर्चा की जाएगी। वह रविवार को नगर पालिका परिषद के सभागार में अनुदानित महाविद्यालय व विश्वविद्यालय स्ववित्तपोषित अनुमोदित शिक्षक संघ की तरफ से आयोजित शिक्षक सम्मेलन में बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि शिक्षकों के हित के लिए संगठन कटिबद्ध है। विशिष्ट अतिथि लुआक्टा महामंत्री डा.अंशु केडिया ने शिक्षकों की मांगों का समर्थन करते हुए 10 अक्टूबर तक हल कराने के प्रयास किया जाएगा। संघ के मीडिया प्रभारी डा.अखंड चंद कौशिक ने कहा कि प्रदेश के 331 अनुदानित महाविद्यालय हैं, जिसमें 272 महाविद्यालयों में स्ववित्तपोषित पाठ्यक्रम संचालित होते हैं, जिनमें अनुमोदित शिक्षकों की संख्या 3660 है। जो पिछले 18 से 20 वर्षों से कार्यरत हैं। इन शिक्षकों का विनियमितीकरण आज तक नहीं किया गया। जबकि इसकी मांग पूर्ववर्ती बसपा व सपा सरकार से की जा रही है। शिक्षकों ने अपने हक के लिए लगातार आंदोलन भी कर रहे हैं। लखनऊ में आंदोलन के दौरान लाठियां भी खानी पड़ी थी। भाजपा सरकार से शिक्षकों को बड़ी उम्मीद है। मुख्यमंत्री व उच्च शिक्षा मंत्री से मिलकर कई बार ज्ञापन दिया गया। अभी तक आश्वासन ही मिला है, लेकिन शिक्षक चुप बैठने वाले नहीं है। अपने हक के लिए संघर्ष जारी रखेंगे। इस मौके पर सुआक्टा के मंत्री डा.अजय कुमार मिश्र ने खुला समर्थन दिया। अध्यक्षता डा.ज्ञानेंद्र ¨सह व संचालन डा.संजय मिश्र ने किया। आयोजक डा.राजेश कुमार मिश्र ने अतिथियों का स्वागत किया व विषय प्रवर्तन पर प्रकाश डाला। डा.धनंजय तिवारी ने सरस्वती वंदना व स्वागत गीत गाया। इस अवसर पर डा.सुधांशु शुक्ला, डा.पंकज तिवारी, डा. मनोज मिश्र, डा.अजय पांडेय, डा. भावना सिन्हा, डा.संजय ¨सह, डा.सुधीर श्रीवास्तव, डा. अखिलेश मिश्र, डा.वैभव मणि, डा.फणींद्र तिवारी, डा.श्रीराम यादव, डा. आरिफ खान, डा.रघुवर दयाल, डा.महेंद्र सुल्तानिया, डा.रितेश ¨सह, डा.राकेश चतुर्वेदी आदि मौजूद रहे।