अतिक्रमण की जद में मिनी महानगर
मिनी महानगर इन दिनों पूरी तरह से अतिक्रमण की जद में आ चुका है। स्थिति सुधरने की बजाए बदतर होती जा रही है। अतिक्रमणकारियों को न प्रशासन का खौफ है ना ही पुलिसिया कार्रवाई की चिता। सूरत-ए-हाल ऐसी कि 14 मीटर चौड़ी सड़क पैदल चलने लायक भी नहीं बची। फुटपाथ पूरी तरह से दुकानदारों के कब्जे में है।
जासं, पीडीडीयू नगर (चंदौली) : मिनी महानगर इन दिनों अतिक्रमण की जद में आ चुका है। स्थिति सुधरने की बजाए बदतर होती जा रही है। अतिक्रमणकारियों को न प्रशासन का खौफ है ना ही पुलिसिया कार्रवाई की चिता। सूरत-ए-हाल ऐसा कि 14 मीटर चौड़ी सड़क पैदल चलने लायक भी नहीं बची। फुटपाथ पूरी तरह से दुकानदारों के कब्जे में है। कोई जगह नहीं बची जहां ठेले खोंमचे और सवारी वाहनों का कब्जा न हो। हालांकि कभी कभार पुलिस अतिक्रमण हटाओ अभियान जरूर चलाती है लेकिन कुछ दिनों बाद स्थिति फिर जस की तस हो जाती है।
नगर में जीटी रोड के दोनों पटरियों पर फुटपाथ बनाया गया है। फुटपाथ के निर्माण का ज्यादा हिस्सा उस स्थान पर है जहां नगर का मुख्य बाजार है। यहां तक कि सब्जी मंडी, मछली मंडी व गल्लामंडी आदि भी जीटी रोड के दोनों किनारों पर ही बन गए हैं। इन मंडियों में आने वाले खरीददार अपने वाहन फुटपाथ पर खड़े कर खरीदारी करते हैं। इसके अलावा अवैध वाहन स्टैंड व ठेले खोंमचे वालों का फुटपाथ पर कब्जा तो आम बात है। नई सट्टी से यूनियन बैंक तक जीटी रोड की उत्तरी पटरी पर बना फुटपाथ भी अतिक्रमण के घेरे में है। सबसे ज्यादा अतिक्रमण सब्जी व फल बेचने वालों का देखा जाता है। नगर की प्रमुख सब्जी मंडी यहां होने के कारण अलसुबह से देर शाम तक भीड़ भाड़ बनी रहती है। सब्जी व फल खरीदने आने वाले लोग अपने चार पहिया व दोपहिया वाहन फुटपाथ तथा जीटी रोड के किनारे खड़े कर देते हैं और देर तक खरीदारी करते हैं। इससे यहां हमेशा जाम की स्थिति बनी रहती है। नगरवासियों का कहना है कि अगर फुटपाथ पर कब्जा न रहे तो लोग अपने वाहनों को फुटपाथ खड़ा करते। इससे सड़क पर जगह मिलती इससे जाम नहीं लगता।