कलाकारों ने शानदार अंदाज में बिखेरीं सुर लहरियां
आकाशवाणी केंद्र नजीबाबाद के स्थापना दिवस पर संगीतमयी कार्यक्रम सुर सरगम.. का आयोजन किया गया। गायन की विभिन्न विधाओं से जुड़े कलाकारों ने संगीतमयी कार्यक्रम से भावविभोर किया।
बिजनौर, जेएनएन। आकाशवाणी केंद्र नजीबाबाद के स्थापना दिवस पर संगीतमयी कार्यक्रम सुर सरगम.. का आयोजन किया गया। गायन की विभिन्न विधाओं से जुड़े कलाकारों ने संगीतमयी कार्यक्रम से भावविभोर किया।
आकाशवाणी केंद्र नजीबाबाद के सहायक निदेशक अभियांत्रिकी दिनेश चंद्रा, कार्यक्रम प्रमुख मंजुला नेगी, कार्यक्रम अधिशासी अंजलि कुमारी, प्रसारण निष्पाकद विक्रांत चौधरी, सुलेंद्र नौटियाल आदि ने दीप प्रज्ज्वलन कर एवं मां सरस्वती की मूर्ति पर माल्यार्पण कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। सोमवार दोपहर 2:30 बजे शुरू हुए संगीतमयी कार्यक्रम का सजीव प्रसारण किया। कार्यक्रम की शुरुआत में कार्यक्रम अधिशासी अंजलि कुमारी ने सरस्वती वंदना प्रस्तुत की। सनव्वर अली खां एवं अन्य कलाकारों ने वाद्य यंत्रों पर उनका साथ दिया। सुप्रसिद्ध लोक गायक भुवनेश गिरि ने रागिनी, अनीस साबरी एवं साथियों ने कव्वाली एवं सनव्वर अली खां व शाहरुख ने गजल प्रस्तुत की।
कार्यक्रम का संचालन कर रहीं रेणू कोटनाला ने बताया कि आकाशवाणी केंद्र नजीबाबाद की स्थापना 27 जनवरी 1978 को हुई थी। उस समय उत्तराखंड उत्तर प्रदेश का ही हिस्सा था। गढ़वाल के काफी नजदीक होने के कारण आकाशवाणी केंद्र ने गढ़वाल के रीति-रिवाज, लोक संस्कृतियों और लोकगीतों को संजोने और संवारने का काम किया। केंद्र की विशेषता और उपलब्धि यह है कि गढ़ रत्न नरेंद्र सिंह नेगी और पद्मश्री जागर सम्राट प्रीतम भरतबाण ने अपने संगीत के सफर की शुरुआत नजीबाबाद केंद्र से ही की थी। वर्तमान में आकाशवाणी नजीबाबाद के कार्य क्षेत्र में आठ जनपद और जुड़ चुके हैं।
अब बिजनौर के अलावा मेरठ, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, शामली, हापुड़, बुलंदशहर, बागपत के कलाकार आकाशवाणी केंद्र से जुड़कर लोक संस्कृति से जुड़े कार्यक्रम प्रस्तुत कर रहे हैं। इस मौके पर महेंद्र अश्क, अमन त्यागी, मनोज त्यागी, कान्हा कर्णवाल, इंद्रदेव भारती सहित कई अतिथि भी उपस्थित रहे।