घुटती है सांस तो रोगी हो जाते रेफर
जागरण संवाददाता ज्ञानपुर (भदोही) कोरोना काल में भी जिले में गंभीर पॉजिटिव रोगियों के उ
जागरण संवाददाता, ज्ञानपुर (भदोही) : कोरोना काल में भी जिले में गंभीर पॉजिटिव रोगियों के उपचार के लिए स्वास्थ्य सुविधाएं बेहतर नहीं की जा सकी। पहले की तरह महामारी में भी जिले के एल-1 और अन्य अस्पताल महज रेफरल अस्पताल बनकर रह गए हैं। सीएमओ का दावा है कि ऑक्सीजन सिलेंडर की उपलब्धता जरुरत के हिसाब से पर्याप्त है। एल-1 अस्पताल के पॉजिटिव और अन्य रोगियों की हालत गंभीर हुई और उन्हें ऑक्सीजन की जरूरत पड़ी लेकिन उपचार की जगह वाराणसी व प्रयागराज के रेफर कर दिया गया। विभागीय सभी संसाधन होने के बाद भी कराहते रोगियों का उपचार परिजन बड़े शहरों में कराने को लाचार हैं।
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25 वर्षों से बेपटरी चल रही सेहत की गाड़ी
जनपद सृजन के 25 वर्ष बाद भी बेपटरी स्वास्थ्य सुविधाएं सुचारु नहीं होने से सभी दावे फेल साबित हुए। मार्च से अब तक 1437 कोरोना पॉजिटिव मिल चुके हैं। चार रोगी ही ऐसे रहे, जिनकी हालत आइसोलेट के दौरान गंभीर होने पर ऑक्सीजन की जरूरत पड़ी। ऑक्सीजन लगाकर उपचार करना चिकित्सकों ने मुनासिब नहीं समझा।
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ऑक्सीजन सिलेंडर की उपलब्धता स्थिति
जिले के अस्पताल में पर्याप्त सिलेंडर मौजूद है। एल-1 अस्पताल सीएचसी भदोही के अधीक्षक ने बताया कि 10 जंबो और 15 छोटा ऑक्सीजन सिलेंडर उपलब्ध है। महाराजा बलवंत सिंह अस्पताल भदोही में 12 छोटा तो 5 जंबो सिलेंडर और महाराजा चेतसिंह जिला अस्पताल ज्ञानपुर में 10 जंबो और 19 छोटा सिलेंडर की उपलब्धता बताई गई। 47 लीटर के जंबो सिलेंडर का दाम 300 रुपये और नौ लीटर का छोटा सिलेंडर की लागत 120 रुपये आती है। हालांकि रेट महीनों से स्थिर है।
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जरूरत के हिसाब से अस्पतालों में पर्याप्त सिलेंडर उपलब्ध हैं। वर्तमान में 94 ऑक्सीजन सिलेंडर उपलब्ध है। ऑक्सीजन की उपयोगिता एल-2 अस्पतालों में अधिक होती है। कोरोना काल में 4-5 रोगियों के अलावा किसी भी संक्रमित को ऑक्सीजन की जरूरत नहीं पड़ी। ---- डा. लक्ष्मी सिंह, सीएमओ, भदोही