Traffice Rules : जुर्माने पर भी जीएसटी की मार Bareilly News
चालान की राशि तो राजकीय कोष में जमा होती है लेकिन क्रेन शुल्क को सरकार ने सेवा कर के दायरे में शामिल कर रखा है। इस पर 18 प्रतिशत जीएसटी देना होता है।
बरेली, जेएनएन : नो-पार्किंग में गाड़ी खड़ी करने की लोगों को भारी कीमत चुकानी पड़ रही है। यातायात पुलिस जुर्माने के नाम पर जो रकम वसूलती है, उसमें 18 प्रतिशत जीएसटी भी लग रहा है। जबकि, जुर्माना न उत्पाद है, न सेवा।
नो-पार्किंग में चारपहिया वाहन पर 500 रुपये जुर्माना है। इसके अलावा 900 रुपये क्रेन का शुल्क भी देना पड़ता है। जबकि, दोपहिया वाहन के लिए जुर्माना तो 500 रुपये ही है, गाड़ी उठाने वाली क्रेन का शुल्क 200 रुपये भी वसूला जाता है। चालान की राशि तो राजकीय कोष में जमा होती है, लेकिन क्रेन शुल्क को सरकार ने सेवा कर के दायरे में शामिल कर रखा है। इस पर 18 प्रतिशत जीएसटी देना होता है। जीएसटी ट्रैफिक पुलिस के जुर्माने में नहीं लेकिन क्रेन से गाड़ी उठाकर पुलिस लाने के भाड़े पर है।
चारपहिया पर 162, दोपहिया पर 36 रुपये
क्रेन शुल्क में चारपहिया पर 900 भाड़ा है, जिसमें 18 प्रतिशत की दर से 162 रुपये जीएसटी है। दोपहिया के 200 रुपये भाड़े में 36 रुपये जीएसटी के शामिल हैं। लोगों में इस पर नाराजगी है कि जुर्माना के ऊपर गाड़ी खींचकर ले जाने का शुल्क ही भारी था। उस पर भी जीएसटी भरो। फिलहाल, इसको लेकर वाहन चालकों में खासा गुस्सा है।
आज से फिर चलेगा नो-पार्किंग अभियान
पुलिस के क्रेन चालक और भाजपा नेता के विवाद के बाद से ठहरी यातायात पुलिस की नो-पार्किंग कार्रवाई सोमवार को फिर शुरू होगी। जुर्माना राशि में कोई बदलाव नहीं किया गया है। विवाद के बाद एसपी ट्रैफिक ने गुरुवार को समीक्षा करने की बात कहकर अभियान रोक दिया था। लोगों ने राहत की सांस ली।
तुरंत पहुंचे तो बचेगा क्रेन शुल्क
शुल्क व जुर्माना को लेकर तीन संशोधन किए गए हैं। गाड़ी उठाते वक्त ही मालिक पहुंचने पर क्रेन शुल्क नहीं पड़ेगा, केवल नो-पार्किंग का 500 रुपये का चालान कटेगा। क्रेन पुलिस लाइन पहुंचने से पहले मालिक के आने पर क्रेन शुल्क आधार लगेगा। कार उठाने पर 900 व बाइक का 200 रुपये चालान के अतिरिक्त लगता था। अफसरों का कहना है कि सड़क पर दोनों तरफ सफेद पट्टियों के भीतर गाड़ी नहीं खड़ी करें। इसके बाहर फुटपाथ या किनारे होने पर चालान नहीं कटेगा।
यातायात नियम जन सामान्य की सुरक्षा के लिए है। सभी इनका पालन करना चाहिए। हेलमेट लगाने में किसी प्रकार का संकोच नहीं करें। इससे हादसे में सिर में चोट लगने की आशंका कम होती है, इसके साथ ही धूप और धूल से भी बचाव होता है। - संजय शर्मा,