कुलपति का पुतला फूंककर आग पर लेटी राष्ट्रीय खिलाड़ी Bareilly News
शाम को रिजल्ट घोषित कर दिया। इसमें 21 विद्यार्थियों के विरुद्ध यूएफएम की कार्रवाई करते हुए रिजल्ट रोक दिया गया। आक्रोशित छात्र-छात्राओं ने कुलपति का पुतला फूंका।
बरेली, जेएनएन : एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय में बैचलर ऑफ फिजिकल एजुकेशन (बीपीएड) छात्राओं की आत्मदाह चेतावनी को प्रशासन ने हल्के में लिया। विद्यार्थी कैंपस के मुख्य द्वार पर ताला जड़कर धरने पर बैठे थे। इसी बीच शाम को रिजल्ट घोषित कर दिया। इसमें 21 विद्यार्थियों के विरुद्ध यूएफएम की कार्रवाई करते हुए रिजल्ट रोक दिया गया। आक्रोशित छात्र-छात्राओं ने कुलपति का पुतला फूंका। कार्रवाई से आहत भारतीय विश्वविद्यालय संघ की ऑल इंडिया इंटर यूनिवर्सिटी टूर्नामेंट खेल चुकीं ख्याति समेत अन्य छात्राओं ने आग पर लेटकर आत्मदाह का प्रयास भी किया। गनीमत रही कि छात्रों ने समय रहते छात्राओं को खींचकर आग बुझा
दी। वरना बड़ा हादसा हो सकता था।
बीपीएड की परीक्षा में विवि ने करीब दो दर्जन विद्यार्थियों की कॉपी के अंदरूनी पन्नों पर रोल नंबर, नाम और कॉलेज का नाम लिखा पकड़ा था। इनके विरुद्ध यूएफएम की कार्रवाई की संस्तुति की गई। विरोध कर रहे विद्यार्थियों ने आरोप लगाया कि बीपीएड प्रथम और द्वितीय वर्ष के करीब 600 विद्यार्थियों ने अपनी कॉपियों के अंदर नाम-रोल नंबर और कॉलेज का नाम लिखा है। विवि ने केवल हमारे विरुद्ध ही कार्रवाई क्यों की? सभी कॉपियों की जांच क्यों नहीं कराई? 600 विद्यार्थियों ने एक जैसा गुनाह किया, तो सबके विरुद्ध कार्रवाई की जाए? छात्राओं का आरोप है कि कॉलेज वाले सब जानते हैं कि पास कराने का ठेका लेने वाले गिरोह में कौनकौन शामिल है। कुलपति भी जानते हैं। कॉलेज, गिरोह के विरुद्ध कार्रवाई के बजाय हमें जानबूझकर बलि का बकरा बना रहा है।
छात्रा ख्याति ने कहा कि अगर मैंने गिरोह का नाम लिया तो वह मुझे जान से मार देंगे। कुलपति जिम्मेदारी लें तो हम नाम भी पता देंगे। वरना हमारे साथ कुछ हुआ तो कुलपति जिम्मेदार होंगे। हमने मांग की थी कि विवि प्रशासन सभी कॉपियों की जांच करके रिजल्ट निकाले, पर उन्होंने हमारी नहीं सुनी। इसी बीच पुलिस और विवि प्रशासन ने गेट का ताला खोल दिया। पुलिस भी विद्यार्थियों पर सख्त हुई। खफा छात्रों ने कैंपस के बाहर पुतला फूंका। छात्राएं पुतले को पैरों से कुचलते हुए उस पर लेट गईं। छात्राएं फूट-फूटकर रोने लगी। वहीं, नीरज नाम की छात्रा बेसुध हो गई। घटनाक्रम बढ़ा तो फोर्स पहुंची। अंत में छात्राओं से विवि दस दिन का समय मांगकर जांच पूरी करने का भरोसा दिया। तब विद्यार्थी लौटे।
ठेका गिरोह के लोगों का नाम बताया तो करा देंगे हत्या
‘बैचलर ऑफ फिजिकल एजुकेशन (बीपीएड)की परीक्षा में ठेका लेकर पास कराने वाला गिरोह सक्रिय है। कुलपति हमसे उनका नाम पूछ रहे हैं। मई में परीक्षा हुई थी। अब तक जांच कर गिरोह को क्यों नहीं पकड़ा? इसमें कॉलेज शामिल हैं। कॉलेजों वालों को पकड़ें वह, सब बता देंगे-कौन, कौन शामिल हैं। ठीक है, हम नाम बता देंगे। एक शर्त पर, कुलपति हमारी सुरक्षा की जिम्मेदारी लें। हमारे साथ कोई अनहोनी होगी, तो वह जिम्मेदार होंगे।’ बीपीएड की छात्रा और नौ बार ऑल इंडिया अंतर विश्वविद्यालय शूटिंग प्रतियोगिता खेल चुकीं ख्यार्ति सिंह यह कहते हुए विवि प्रशासन पर बिफर पड़ती हैं।
उनका आरोप है कि रुविवि प्रशासन भ्रष्टाचार में शामिल है। इसलिए उसने गिरोह को पकड़ने के बजाय हम लोगों पर एकतरफा कार्रवाई की। बीपीएड छात्रा प्रतीक्षा के मुताबिक ‘सबने कॉपी के अंदर रोल नंबर लिखे। कार्रवाई केवल 21 पर, ऐसा क्यों? परीक्षा में आठ सौ विद्यार्थी बैठे थे। उनकी कॉपियों की जांच क्यों नहीं की? हमने तो शिकायती पत्र भी दिया। हमारी मांग थी कि प्रशासन पूरे मामले की जांच कराए। तब रिजल्ट निकाले। प्रशासन ने जांच कराए बगैर रिजल्ट क्यों निकाला। इसका मतलब उनकी मिलीभगत है। प्रशासन न तो गिरोह को पकड़ना चाहता है न उसके विरुद्ध कोई कार्रवाई करना चाहता।
मौलिक अधिकार का हनन किया
छात्राएं धरने पर बैठी थीं। छात्र पुतला फूंकने की तैयारी में थे। वह पुतला लाए तो पुलिस और विवि के सुरक्षाकर्मियों ने पुतला छीन लिया। इस पर ख्यार्ति सिंह बिफर गईं। धक्का-मुक्की हुई। पुलिस ने रौब दिखाया। ख्याति ने पुलिस कर्मियों से कहा कि आपने विवि प्रशासन के साथ मिलकर धरना देने के मेरे मौलिक अधिकार का हनन किया है।
यूथ बिग्रेड के हो, तभी नेतागिरी
चैनल के पास बैठे यूथ बिग्रेड के जिलाध्यक्ष व बीपीएड छात्र अमित को पुलिसकर्मी हड़काने लगा। इस पर अमित ने कहा कि मैं छात्र हूं और यूथ बिग्रेड का जिलाध्यक्ष भी। तपाक से पुलिसकर्मी बोल पड़ा, तभी नेतागिरी कर रहे हो। बाद में कुलदीप सिंह ने छात्रनेता गजेंद्र सिंह, यूथ बिग्रेड के जिलाध्यक्ष अमित समेत कई छात्रनेताओं के नाम अपनी डायरी में दर्ज किए।
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