बोल चुके नेता, अब मतदाताओं की बारी
23 अप्रैल को ईवीएम में बंद हो जाएगी मंडल की चार लोकसभा सीटों से प्रत्याशियों की किस्मत।
प्वाइंटर
16 प्रत्याशी बरेली से
14 प्रत्याशी आंवला से - 23 अप्रैल को ईवीएम में बंद हो जाएगी किस्मत
- सभी दलों ने जीत के लिए किए लाखों जतन
जागरण संवाददाता, बरेली : चुनाव प्रचार के दौरान 13 दिन तक ताकत लगाने के बाद नेता रविवार शाम छह बजे से खामोश हो गए। किसी ने रोड शो किया तो कोई घर-घर घूमा। प्रत्याशियों के मशक्कत करके थक जाने के बाद अब मतदाताओं की बारी है। करीब साढ़े 31 लाख मतदाता 23 अप्रैल को अपना फैसला सुनाएंगे।
जिले की दो सीट बरेली और आंवला के लिए कुल 30 उम्मीदवार मैदान में हैं। आंवला में 14 तो बरेली में 16 उम्मीदवार मैदान में है। 13 दिन के प्रचार में भाजपा की तरफ से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गठबंधन प्रत्याशियों के लिए मायावती और अखिलेश यादव आए। कांग्रेस ने अंतिम दिन प्रदेश अध्यक्ष राजबब्बर को बुलाया था मगर, उनका हेलीकॉप्टर किन्हीं कारणों से बिना उतरे ही चला गया। प्रचार के दौरान बड़े नेताओं में जुबानी जंग शिद्दत से हुई। आरोप लगे और दूसरी तरफ से तीखे जवाब आए। प्रत्याशियों ने क्षेत्र में घूमकर अपने तौर पर भी तमाम प्रयास किए। गर्ज यह कि प्रत्याशी थककर चूर हो गए। बोलते-बोलते आवाज बैठ गई। आयोग के निर्देश पर शाम छह से बजे से शोरशराबा करके वोट मांगने का सिलसिला बंद हो गया। अब सभी को मतदाताओं के रुख का इंतजार है, जो सभी नेताओं की बात सुन चुके। अब उन्हें मताधिकार के रूप में अपनी बात कहना है। एक दिन बचा है। सोमवार को देर शाम तक पोलिंग पार्टियां बूथों पर पहुंच जाएंगी। अगले दिन मतदाता अपना फैसला सुना देंगे। बता देंगे कि उनकी समझ में किसकी बात आई। प्रत्याशियों की किस्मत इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन में लॉक हो जाएगी। 23 मई को पता लगेगा, कहां खुशियां मनेंगी और किन घरों पर गम का साया दिखाई देगा।