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कोर्ट के फैसले से हलाला पीड़िता को राहत, आरोपित के आपत्ति दायर करने का मौका खत्म

ससुर के साथ हलाला का आरोप लगाने वाली पीड़िता को सोमवार को घरेलू ¨हसा के मामले में कोर्ट ने बड़ी राहत देते हुए आरोपित के आपत्ति दायर करने का मौका खत्म कर दिया। साथ ही पीड़िता से सुबूत मांगे हैं।

By JagranEdited By: Published: Tue, 07 Aug 2018 03:18 PM (IST)Updated: Tue, 07 Aug 2018 03:18 PM (IST)
कोर्ट के फैसले से हलाला पीड़िता को राहत, आरोपित के आपत्ति दायर करने का मौका खत्म

जेएनएन, बरेली। ससुर के साथ हलाला का आरोप लगाने वाली पीड़िता को सोमवार को घरेलू ¨हसा के मामले में कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। आरोपित पक्ष की ओर से आपत्ति दायर न करने पर एसीजेएम-पांच कोर्ट ने पीड़िता के पक्ष में एकतरफा फैसला सुनाते सात सितंबर को कोर्ट में सुबूत पेश करने की तारीख नियत कर दी है।

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बरेली निवासी हलाला पीड़िता ने वर्ष 2017 में घरेलू ¨हसा का केस दायर किया था। इसमें शौहर, देवर, ननद, सास और ससुर को आरोपित बनाया। यह केस शुभि गुप्ता एसीजेएम-पांच की कोर्ट में चल रहा है। कोर्ट ने आरोपितों को आपत्ति दायर करने के कई मौके दिए, पर उन्होंने आपत्ति दायर नहीं की। जबकि लगातार कार्यवाही टालने की अर्जी दी जाती रहीं। कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि आरोपित बार-बार मामले को टाल रहे हैं। अब उनकी आपत्ति दायर करने का मौका खत्म किया जाता है। वहीं, इस मामले में पीड़िता की ओर से अंतरिम गुजारा भत्ता दिए जाने की भी मांग की गई है। कोर्ट में पीड़िता ने यह आरोप लगाया कि आरोपित उसके दहेज का सामान खुर्द-बुर्द कर रहे हैं। लिहाजा दहेज का सामान वापस दिलाया जाए। बता दें कि पुलिस पीड़ित महिला की तरफ से हलाला मामले में दुष्कर्म का मुकदमा दर्ज कर चुकी है लेकिन हाईकोर्ट ने कार्रवाई पर रोक लगाते हुए सुनवाई के लिए परामर्श केंद्र में भेज दिया है।

--तलाक का दबाव, पीएम से मदद की गुहार : निकाह के तीसरे दिन ही पति जर्मनी चला गया। ठीक से साथ रहने का वक्त भी नहीं मिला और पति व ससुरालियों की ओर से युवती पर लगातार तलाक लेने का दबाव बनाया जा रहा है। पीड़िता ने ट्वीट कर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, विदेश मंत्री सुषमा स्वराज और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मदद की गुहार लगाई है। युवती ने पति का पासपोर्ट निरस्त कर अदालत द्वारा दी गई तिथि पर उसे अदालत में पेश कराने की अपील की है। आगरा के शाहगंज थाना क्षेत्र की युवती की शादी 25 नवंबर 2015 को दिल्ली के थाना सुभाष पैलेस स्थित जेजे कालोनी निवासी राज सैफी पुत्र रफीकउद्दीन से हुई थी। तीसरे दिन ही राज जर्मनी चला गया। मई 2016 में वह लौटा और अपने भाई के साथ आगरा आया और युवती को अपने साथ दिल्ली ले गया। वहां से कुछ दिन बाद ही राज जर्मनी लौट गया। इस दौरान युवती से बातचीत नहीं की और ससुराल वाले तलाक लेने का दबाव बनाने लगे।

युवती के पिता का आरोप है कि ससुर रफीकउद्दीन सैफी और जेठ यामीन सैफी ने आगरा आकर कई बार धमकियां दीं। उन्होंने कहा कि दो लाख रुपये लेकर तलाक ले लो। राज सैफी उसे रखना नहीं चाहता है।


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