डीएम ने लिया संज्ञान, टीम लगाकर कार्ड जारी कराए आयुष्मा कार्ड
डीएम ने लिया संज्ञान टीम लगाई कार्ड जारी करवाए
बाराबंकी: जिले के नौ ब्लॉकों के 34 गांव के लोग आयुष्मान का योजना का लाभ नहीं पा सके थे। विभाग का कहना था कि ये गांव खोजे नहीं मिल रहे हैं। इस मामले का संज्ञान डीएम ने लिया और राजस्व विभाग की टीम को गांव की तलाश में लगाया तो सभी 34 गांव मिल गए। यहां रहने वाले करीब 500 परिवारों के आयुष्मान कार्ड भी जारी कर दिए गए।
जिला विकास अधिकारी केके सिंह की मौजूदगी में एक जिला पंचायत सदस्य ने गांव का हवाला देते हुए कहा कि यहां किसी का आयुष्मान कार्ड नहीं बना है। यही बात डीएम डॉ. आदर्श सिंह तक पहुंची तो उन्होंने स्वास्थ्य विभाग से रिपोर्ट मांगी कि आयुष्मान कार्ड योजना से कौन गांव वंचित है? इसके एवज में स्वास्थ्य विभाग ने जो रिपोर्ट तैयार की उसमें जिले के नौ ब्लॉकों के 34 गांव आयुष्मान कार्ड योजना से वंचित थे। अफसोस की बात यह थी कि ज्यादातर गांव घाघरा नदी की तराई इलाके के थे। इस इलाके में जितने जरूरतमंद लोगों की आबादी है शायद ही कहीं और हो। क्योंकि तराई इलाके में स्वास्थ्य सुविधाएं वैसे ही पटरी से उतरी रहती हैं। रिपोर्ट मिलते ही डीएम ने राजस्व विभाग की टीम को काम पर लगा दिया। लेखपाल कानूनगो ने बेहद कम समय में उन गांवों को चिन्हित कर लिया जिनसे स्वास्थ्य विभाग अनभिज्ञता जता रहा था। गांव चिन्हित होते ही डीएम के आदेश पर स्वास्थ्य विभाग की टीम मौके पर पहुंची और परिवारों को आयुष्मान कार्ड जारी किए। देखते ही देखते लगभग 500 परिवारों के हाथ में आयुष्मान कार्ड आ गए।
स्वास्थ्य विभाग की रिपोर्ट के मुताबिक बनीकोडर, फतेहपुर, दरियाबाद, पूरेडलई, रामनगर, सिद्धौर, सिरौलीगौसपुर, सूरतगंज व त्रिवेदीगंज ब्लॉक के 34 गांव लापता थे। इनमें फतेहपुर कस्बे का ब्राम्हनी टोला भी शामिल है जिसे गांव बताया गया। यहां 46 परिवार चिन्हित किए गए। इसी ब्लॉक में छह गांव भी कार्ड से शून्य थे। पूरेडलई में नौ गांव, रामनगर के चार गांव, सिरौलीगौसपुर के तीन गांव योजना से वंचित थे।