समाज को सुशिक्षित बना रही इनके खेतों की हरियाली
-शिक्षा के लिए दान में दी थी अपनी 24 बीघे जमीन -स्वयं एलएलबी तक ग्रहण की शिक्षा, बेटे को दिलाई उच्च शिक्षा सुशिक्षित समाज चित्र-17बीआरके-0
बाराबंकी : एक ओर जहां एक-एक फिट जमीन के लिए लोग कुछ भी कर गुजरने को तैयार रहते हैं वहीं हरख ब्लॉक के गाल्हामऊ गांव निवासी अधिवक्ता कौशलपाल ¨सह के खेतों की हरियाली से सुशिक्षित समाज का निर्माण हो रहा है।
कौशलपाल ¨सह ने ग्रामीण परिवेश के शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए जनपद इंटर कॉलेज हरख के नाम 24 बीघा जमीन दी थी। इसके अलावा गांव में पूर्व माध्यमिक विद्यालय के भी भी जमीन दी। इन स्कूलों में पढ़ने वालों में आइएएस, पीसीएस, डॉक्टर व इंजीनियर भी शामिल हैं। कौशलपाल ¨सह के पुत्र हिमांशु दीपक ¨सह भी वकालत की पढ़ाई पूरी करने के बाद लोगों को उनका हक दिलाने में मदद करते हैं।
वर्ष 1972 में जब ब्लॉक में बहुत कम स्कूल-कॉलेज थे तब हैदरगढ़-बाराबंकी मार्ग किनारे स्थित अपनी 24 बीघे जमीन जनपद इंटर कालेज हरख के नाम दान कर दी थी। 2008 में गाल्हामऊ गांव में जूनियर हाईस्कूल भवन बनवाने के लिए जमीन नहीं मिली तो अपनी दो बीघे जमीन दी।
हरख कॉलेज के नाम दान की गई जमीन के उन्नतिशील खेती की जा रही है। इस खेती से होने वाली आय को जरूरत मंद छात्रों की शिक्षा पर खर्च किया जाता है। इसी कॉलेज में पढ़कर गाल्हामऊ गांव निवासी जयपाल ¨सह आईएएस बने थे। सनद कुमार ¨सह ने पीसीएस की डिग्री हासिल की थी। हरगो¨वद ¨सह, अवधेश द्विवेदी, दृगराज ¨सह सहित अन्य लोग एलएलबी की डिग्री हासिल कर वकील बने। रामनरेश यादव को रेलवे में नौकरी मिली। योगदान के लिए कौशलपाल ¨सह को जनपद इंटर कालेज हरख की प्रबंध समिति में उपाध्यक्ष बनाया गया था। वर्तमान में यह कॉलेज की कार्यकारणी में सदस्य हैं। शिक्षा के प्रति समर्पण के लिए वर्ष 1984 में सतरिख कस्बे के पूर्व माध्यमिक विद्यालय में सलामी लेने के बाद इन्हें सम्मानित किया गया था।