15 माह में सिर्फ पांच बार अस्पताल आए पशु चिकित्सक
राजकीय पशु चिकित्सालय सिलौटा अव्यवस्था का शिकार है। नियुक्ति के बाद तैनात चिकित्सक 15 माह में सिर्फ पांच दिन चिकित्सालय पहुंचे। मुख्य पशु चिकित्साधिकारी ने स्पष्टीकरण तलब किया है।
बहराइच : राजकीय पशु चिकित्सालय सिलौटा अव्यवस्था का शिकार है। नियुक्ति के बाद तैनात चिकित्सक 15 माह में सिर्फ पांच दिन चिकित्सालय पहुंचे। मुख्य पशु चिकित्साधिकारी ने स्पष्टीकरण तलब किया है।
मंगलवार को भी चिकित्सालय तो खुला था, लेकिन चिकित्सक की कुर्सी खाली पड़ी थी। जब पड़ताल की गई तो पता चला कि विगत 15 माह पूर्व इस चिकित्सालय में तैनात पशु चिकित्सक डॉ. राहुल गुप्ता के गैर जनपदीय स्थानांतरण के बाद डॉ. पवन वर्मा की तैनाती की गई। तैनाती के बाद डॉ. वर्मा अस्पताल में सिर्फ पांच बार आए इसके बाद मेडिकल पर चले गए। 15 माह में जब किसी ने पशु चिकित्सक से चिकित्सालय न आने का कारण पूछा तो यही उत्तर मिला कि वह मेडिकल पर हैं। अस्पताल में दवा लेने आए बौंडी के उमेश्वर पांडेय, रामेश्वर प्रसाद शुक्ला, पूरन मिश्र आदि ने बताया कि बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में पशुओं के समुचित इलाज के लिए चिकित्सक का नियमित आना अति आवश्यक है। इसके बाद भी चिकित्सक नहीं आते हैं। इस संबंध में जब तैनात चिकित्सक डॉ. पवन वर्मा से सुबह11 बजे फोन पर बात की गई तो उन्होंने कहा हम सभी को संतुष्ट नहीं कर सकते। 20 मिनट बाद अस्पताल पहुंच रहा हूं। डीएम शंभु कुमार ने कहा कि चिकित्सक के न आने की जांच कर कार्रवाई की जाएगी। इनसेट
तैनात चिकित्सक बार-बार मेडिकल ले रहे हैं। पशु चिकित्सालय खैराबाजार के प्रभारी डॉ. धीरज वर्मा को अटैच भी किया गया था। पशु चिकित्सक डॉ. पवन वर्मा ने आना शुरू किया। चिकित्सक अनुपस्थित है तो उनसे स्पष्टीकरण मांगा जाएगा।
डॉ. बलवंत सिंह, सीवीओ