अशिक्षा के अमावस में जला रहे शिक्षा के 'दीप'
बहराइच : जाति-धर्म से ऊपर उठकर गरीब व वंचित बच्चों को शिक्षा देकर उन्हें शिक्षित कर र
बहराइच : जाति-धर्म से ऊपर उठकर गरीब व वंचित बच्चों को शिक्षा देकर उन्हें शिक्षित कर रहे हैं। कॉपी-किताब के इंतजाम में भी पीछे नहीं रहते हैं। जी हां, हम बात करते हैं शहर के नईबस्ती बक्शीपुरा के रहने वाले दीपक श्रीवास्तव की। अशिक्षा के अमावस में शिक्षा का दीप जलाने वाले दीपक गरीब बच्चों को शिक्षा देकर उन्हें मुख्य धारा से जोड़ रहे हैं। निष्काम सेवा इनकी ¨जदगी का हिस्सा बन गया है। शहर के चार स्थानों पर लगभग 400 बच्चों को नि:शुल्क शिक्षा दे रहे हैं। इसमें इनकी टोली के 12 सदस्य भी बखूबी साथ निभा रहे हैं। इन्होंने अपने इस पहल का नाम मुस्कुराता बचपन रखा है। इनकी यह पहल शहर ही नहीं, पूरे जिले के युवाओं के लिए प्रेरणादायक बनी है।
शहर के नईबस्ती बक्शीपुरा निवासी समाजसेवी दीपक श्रीवास्तव बताते है कि ग्रेजुएशन की पढ़ाई रिसिया में करते थे। एक दिन वह कॉलेज जा रहे थे, तभी उनकी नजर स्कूल की ड्रेस पहने एक छात्र पर पड़ी, जो कूड़ा बीन रहा था। वह रूक कर बच्चे से स्कूल न जाने का कारण पूछा तो उस बच्चे ने बताया कि स्कूल की फीस नहीं जमा है। स्कूल से भगा दिया गया है। मासूम के मुंह से यह बात सुनते ही उनका मन झकझोर उठा। कॉलेज से वापस लौटते समय उन्होंने तय किया कि वह ग्रेजुएशन कंप्लीट कर उन मासूमों के लिए विद्यालय खोलेंगे, जो स्कूल तो जाना चाहते हैं, लेकिन धन के अभाव में पढ़ नहीं पाते हैं। इसी सोच को मन में बिठाकर दीपक ने युवाओं की टोली तैयार की। इस टोली में 12 शिक्षिक-शिक्षिकाएं हैं, जो गरीब बच्चों को नि:शुल्क शिक्षा देकर मिसाल पेश कर रहे है। शहर के हमजापुरा, घसियारीपुरा, बक्शीपुरा व घोसिनबाग में वह बच्चों को एकत्रित कर उनमें शिक्षा की अलख जगा रहे है। चारों जगह कुल चार सौ छात्र-छात्राएं शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं, जिनकी सारी जिम्मेदारी स्वयं दीपक उठा रहे हैं।