पांच स्थानों में से मात्र बदरखा में बालू खनन को हरी झंडी
बागपत: रायल्टी की जुलाई व अक्टूबर माह की किस्त जमा नहीं होने के कारण जिले के पांचों स्था
बागपत: रायल्टी की जुलाई व अक्टूबर माह की किस्त जमा नहीं होने के कारण जिले के पांचों स्थानों पर एक अक्टूबर से बालू खनन शुरू नहीं हो पाया था। जुलाई माह की रायल्टी की किस्त जमा करने के बाद अब पांच में से जगह एक बदरखा में बालू खनन करने की अनुमति दे दी गई है। अक्टूबर माह में देय रायल्टी की किस्त 31 अक्टूबर तक जमा करने के वादे पर बालू खनन को मंजूरी दी गई है। बाकी चार कंपनियों ने अभी तक रायल्टी जमा करने में रुचि नहीं दिखाई है।
ई-टेंड¨रग के माध्यम से जिले के गौरीपुर, सुभानपुर, सांकरौद, बदरखा व छपरौली में पांच साल के लिए रेत खनन के ठेके कंपनियों को दिए गए थे। जिले में बालू खनन के पट्टे में पांच साल में दो अरब 87 करोड़ की रुपये की रायल्टी ठेकेदार या कंपनी को देनी थी, जिसे चार हिस्सों में यानि तिमाही में जमा करना था। इसमें बरसात से पहले जून माह तक गौरीपुर, बदरखा व सुभानपुर ने दो तिमाही तथा सांकरौद व छपरौली ने एक-एक तिमाही की किस्त जमा कर दी थी। कंपनियों ने जुलाई माह में दी जाने वाली रायल्टी की 14 करोड़ रुपये की किस्त सितंबर माह तक जमा नहीं की थी।
डीएम ऋषिरेंद्र कुमार ने शासन को कंपनियों को ऑनलाइन रवन्ना के लिए ओटीपी जारी नहीं करने को पत्र लिखा था। इसी कारण पांचों स्थानों पर बालू खनन एक अक्टूबर से शुरू नहीं हो पाया था। वहीं बदरखा की कंपनी ने जुलाई माह की रायल्टी की किस्त जमा कर दी और अक्टूबर माह में देय रायल्टी की किस्त 31 अक्टूबर तक जमा करने का यकीन दिलाया। इस पर जिला प्रशासन ने बदरखा में बालू खनन करने की अनुमति दे दी है। जिला खनन अधिकारी अनुराग श्रीवास्तव ने बताया कि बाकी चार कंपनियों ने अभी जुलाई के अलावा अक्टूबर माह में रायल्टी की किस्त जमा नहीं की है। यदि कंपनियां किस्त जमा नहीं करेंगी, तो उनके खिलाफ आरसी जारी करने व खनन का पट्टा निरस्त करने की कार्रवाई की जाएगी।