गड्ढों में हिचकोले खा रहा गड्ढा मुक्त अभियान
सूबे में मुख्यमंत्री बनते ही योगी ने अभियान चलाकर सड़कों को गड्ढों को भरा लेकिन अभियान साकार नहीं हुआ।
बदायूं : सूबे में भाजपा सरकार आते ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अभियान चलाकर सड़कों को गड्ढ़ामुक्त करवाया था, लेकिन बरसात होते ही कलई खुल गई। शहर में रोडवेज चौराहा पर गहरा गड्ढ़ा इसकी गवाही दे रहा है। बरेली-बदायूं हाईवे पर भी जगह-जगह गड्ढे बन गए हैं। इनसे हादसे भी होने लगे हैं। मानक के विपरीत के सामग्री न लगने की वजह से बरसात होते ही गड्ढे फिर से बन गए। सड़कें ही गड्ढों में तब्दील हो गईं। इनकी दोबारा मरम्मत के नाम पर बरसात का बहाना मिल गया। जिम्मेदार अधिकारी अभी भी इस ओर कोई ध्यान नहीं दे पा रहे हैं। इससे सरकार की मंशा भी गड्ढों में ही हिचकोले खाने लगी है।
सड़कों को गड्ढामुक्त बनाना मुख्यमंत्री की पहली प्राथमिकता में सुमार था। इसके तहत काम भी दिखाई दिया। शुरूआत में सरकार के खौफ के चलते गड्ढों में पै¨चग कार्य शुरू करा दिया। तय समय पर यह काम न हो पाया तो समय और बढ़ा दिया गया। निर्धारित समय के भीतर भी गड्ढा मुक्त अभियान धरातल पर नहीं उतर पाया।जहां-जहां गड्ढे दूर किए गए उनमें ठेकेदारों ने मानक के अनुरूप सामग्री नहीं लगाई। इसकी पोल उस वक्त खुली जब शुरूआत में मामूली बरसात हुई तो सभी गड्ढे उधड़ गए। वहां पर पहले जैसे गड्ढे दिखाई देने लगे। सामग्री कहां लगाई गई थी इस सवाल का जवाब कोई नहीं दे पा रहा है। मौजूदा वक्त में बाबूराम मार्केट से रेलवे स्टेशन रोड, बरेली-आगरा राजमार्ग पर पुरानी चुंगी से लेकर दातागंज तिराहे तक सड़क पूरी तरह से गड्ढों में तब्दील हो गई। शायद ही कोई सड़क ऐसी हो जहां पर गड्ढे नहीं हैं। सभी जगह गड्ढे मौजूद हैं, लेकिन उनको सुधारने का नाम नहीं लिया जा रहा है।
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