अस्पताल की दुर्व्यवस्था पर भड़के लोग
आजमगढ़ जिला अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए पटाखा विस्फोट में मौत के बाद शहर कोतवाली के शेखपुरवा निवासी अजय मौर्य के परिजन संग ग्रामीण सड़क पर उतर आए और पोस्टमार्टम के बाद शव को लेकर दिन में एक बजे के करीब हर्रा की चुंगी तिराहे पर जाम लगा दिया। जाम की सूचना पाकर एसडीएम सदर पंकज कुमार श्रीवास्तव व सीओ सिटी इला मारनजी मौके पर पहुंचे और समझा-बुझाकर किसी तरह दो घंटे बाद जाम समाप्त कराया।
जासं, आजमगढ़ : जिला अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए पटाखा विस्फोट में मौत के बाद शहर कोतवाली के शेखपुरवा निवासी अजय मौर्य के परिजन संग ग्रामीण सड़क पर उतर आए और पोस्टमार्टम के बाद शव को लेकर दिन में एक बजे के करीब हर्रा की चुंगी तिराहे पर जाम लगा दिया। जाम की सूचना पाकर एसडीएम सदर पंकज कुमार श्रीवास्तव व सीओ सिटी इला मारन मौके पर पहुंची। लोगों को समझा-बुझाकर किसी तरह जाम समाप्त कराया।
अजय मौर्य के परिजनों का आरोप है कि जिला अस्पताल में मरीजों के साथ लापरवाही की गई। यहां का स्टाफ मरीजों को यहां न भर्ती कर प्राइवेट अस्पताल में भेज दिया। इसकी वजह से मरीजों को जान से हाथ धोना पड़ रहा है। आरोप लगाया कि यहां पर तैनात प्लास्टिक सर्जन डा. सुभाष सिंह जिला अस्पताल में मरीजों को भर्ती न कर बेहतर इलाज का हवाला देते हुए सिधारी स्थित अपने प्राइवेट अस्पताल में भर्ती कराए। वहां डाक्टर व स्टाफ की लापरवाही की वजह से ही अजय मौर्या की बुधवार की सुबह मौत हुई है। इससे आक्रोशित लोग पोस्टमार्टम के बाद शव लेकर हर्रा की चुंगी तिराहे पर रखकर जाम कर दिया। जाम करने वालों में मृतक का भाई उपेंद्र मौर्य, आशीष मौर्य, सुरेश चंद्र मौर्य, शैलेंद्र कुमार आदि शामिल थे। इन लोगों ने एसपी को संबोधित पत्रक भी प्रशासन को सौंपा। ''अजय मौर्य 70 फीसद झुलस चुका था। उसकी हालत गंभीर थी। पहले से ही परिजनों से कहा जा रहा था कि वह कहीं और लेकर जाएं। इलाज में कोई कोताही नहीं बरती गई है। हरसंभव मरीज को बचाने का प्रयास किया गया है। उनके यहां भर्ती तीन और लोग 90 फीसद झुलस चुके हैं। उनको भी बचाने का प्रयास किया जा रहा है। मृतक पक्ष से जो भी आरोप लगाए जा रहे हैं वह गलत है।
-डा. सुभाष सिंह, प्लास्टिक सर्जन जिला अस्पताल।