आवास अधूरा तो स्कूल से डोली उठाने का सपना किया पूरा
बारी (आजमगढ़) साहब! घर बन गइल होत तो बिटिया के डोली अपने आंगन से ही उठाइत। स्कूल से बिटिया के डोली उठल तो आंख से आंसू न रुकल। अब स्कूल भी खुल जाई त हम लोग कहां जाइब। यह दर्द है पवई विकास खंड के आंधीपुर गांव के मुन्ना मुसहर का। 2
जागरण संवाददाता, अंबारी (आजमगढ़) : साहब! घर बन गइल होत तो बिटिया के डोली अपने आंगन से ही उठाइत। स्कूल से बिटिया के डोली उठल तो आंख से आंसू न रुकल। अब स्कूल भी खुल जाई, त हम लोग कहां जाइब। यह दर्द है पवई विकास खंड के आंधीपुर गांव के मुन्ना मुसहर का। 28 जून को उसकी पोती की शादी थी।
उम्मीद थी कि बरसात से पहले छत नसीब हो जाएगी लेकिन अरमानों पर पानी फिर गया। गांव के पांच परिवारों को प्रधानमंत्री आवास आवंटित हुआ था। बीते दो अक्टूबर को पांचों परिवारों को स्वीकृति प्रमाणपत्र मिला।
विकास खंड अधिकारियों एवं कर्मचारियों की उदासीनता के चलते अभी तक आवास पूरा नहीं बन सका, जबकि बरसात का समय आ गया है। आवास न बनने के कारण यह परिवार प्राथमिक विद्यालय पोखरे पर बने आंगनबाड़ी केंद्रों पर रह रहे हैं। लाभार्थियों का कहना है कि जब प्रधान ने निर्माण शुरू कराया तभी हम लोगों को बैंक ले जाकर सब पैसा निकलवा लिए। गांव की आशा पत्नी मुन्ना, लालती पत्नी राजिदर, सावित्री पत्नी टेलहु समेत पांच के नाम आवास का आवंटन हुआ है। बीडीओ के बार-बार आश्वासन के बाद भी छत नहीं लद रही है। वर्जन....
प्रधान और सचिव से बार-बार कहने के बाद भी छत नहीं लगाए गए हैं। इसकी जांच करके दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
-सर्वेश मोहन श्रीवास्तव, खंड विकास अधिकारी, पवई।