फिल्म रोड टू संगम का किया गया प्रदर्शन
शहर के शारदा टाकीज में चल रहे अंतरराष्ट्रीय फिल्म फेस्टिवल के दूसरे दिन रविवार को एक के बाद एक फिल्मों का प्रदर्शन किया गया। संदेशात्मक फिल्मों ने दर्शकों पर अपना प्रभाव छोड़ा।
जागरण संवाददाता, आजमगढ़ : शहर के शारदा टाकीज में चल रहे अंतरराष्ट्रीय फिल्म फेस्टिवल के दूसरे दिन रविवार को एक के बाद एक फिल्मों का प्रदर्शन किया गया। संदेशात्मक फिल्मों ने दर्शकों पर अपना प्रभाव छोड़ा। दोपहर में जेड प्लस फिल्म के बाद कई फिल्में दिखाई गईं और फिल्म के लेखक रामकुमार सिंह से संवाद हुआ। महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर फिल्म रोड टू संगम का विशेष प्रर्दशन किया गया और फिल्म के अभिनेता पवन मल्होत्रा और निर्देशक अमित राय से खुला संवाद हुआ। फिल्म भूलन द मेज के प्रदर्शन के साथ निर्देशक मनोज वर्मा का भी संवाद हुआ।
दूसरे आजमगढ़ अंतरराष्ट्रीय फिल्म फेस्टिवल के दूसरे दिन की शुरुआत में प्रसिद्ध अभिनेता पीयूष मिश्रा के साथ एक खुला संवाद आयोजित किया गया। इसमें पीयूष मिश्रा ने अपनी जिदगी, फिल्म एवं रंगमंच के संघर्ष को बड़ी संजीदगी के साथ सबके सामने रखा। युवाओं के साथ जीवन और जीवन से जुड़ी हुई सीख साझा की और युवाओं को सवाल करने का खुला मौका दिया। उन्होंने संवाद के दौरान बड़ी ही संजीदगी से सबके उत्तर दिए।
पीयूष मिश्रा ने कहा कि सेंसर बोर्ड का दखल वेब सीरीज में भी होना चाहिए। चूंकि इनके भरोसे बहुत सी ऐसी फिल्में दिखाई जा रही हैं जो गलत है। इस मौके पर समीक्षक अजीत राय ने संवाद में मॉडरेटर की भूमिका निभाई।