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पोखरी पर कब्जा, शिकायत अनसुनी

मेंहनगर तहसीहल के महादेवापारा गांव निवासी ओंमकार नाथ शर्मा का आरोप है कि गांव की पोखरी का सीमांकन पांच साल पहले हो चुका है लेकिन इसके बावजूद अभी तक अतिक्रमण नहीं हटाया गया है।

By JagranEdited By: Published: Mon, 12 Nov 2018 06:25 PM (IST)Updated: Mon, 12 Nov 2018 06:25 PM (IST)
पोखरी पर कब्जा, शिकायत अनसुनी
पोखरी पर कब्जा, शिकायत अनसुनी

जासं, आजमगढ़ : सार्वजनिक जमीन, तालाब व पोखरी पर भू माफिया कब्जा जमाते जा रहे हैं और प्रशासनिक अमला कागजी कोरम में उलझा हुआ है। सार्वजनिक जमीन से कब्जा हटाने के लिए लोग अर्जी दे रहे है और पैमाइश के नाम पर उन्हें इस अधिकारी के यहां से उस अधिकारी के कार्यालय में चक्कर काटना पड़ रहा है। इतना ही नहीं सार्वजनिक जमीनों से कब्जा हटाने के लिए बनी टीम भी इस वक्त बैकफुट पर चली गई है। न कहीं चक्रमण कर रही है न ही कब्जा हटाने में ही दिलचस्पी दिखा रही है। कुछ ऐस ही मेंहनगर तहसील के महादेवापारा गांव में हुआ। निवासी ओंमकार नाथ शर्मा का आरोप है कि गांव की पोखरी का सीमांकन पांच साल पहले हो चुका है लेकिन इसके बावजूद अभी तक अतिक्रमण नहीं हटाया गया है। ओमकार का कहना है कि गांव के ही लोगों के विरुद्ध लेखपाल द्वारा 115 सी की कार्रवाई तथा एफआइआर वर्ष 2011 में दर्ज कराई गई थी। बावजूद कार्रवाई नहीं हुई। पिछले चार साल में कई आला अफसरों के यहां प्रार्थना पत्र देकर कब्जा हटाने की गुहार लगाई गई लेकिन कोई भी परिणाम सामने नहीं आया। ग्राम प्रधान मीना देवी ने 27 जुलाई को आला अफसरों को प्रार्थना पत्र दिया लेकिन भी भी कार्रवाई नहीं की गई। इसकी वजह से पोखरी पर कब्जा बरकरार है। इससे पोखरी की खोदाई नहीं हो पा रही है।

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