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मुरझा गया मन कुमंद तो उजली रातों का क्या होगा

जागरण संवाददाता, औरैया : नगर पालिका के तत्वावधान में शहर के पुराने नुमाइश मैदान में चल र

By JagranEdited By: Published: Thu, 01 Feb 2018 11:08 PM (IST)Updated: Fri, 02 Feb 2018 01:48 AM (IST)
मुरझा गया मन कुमंद तो  उजली रातों का क्या होगा
मुरझा गया मन कुमंद तो उजली रातों का क्या होगा

जागरण संवाददाता, औरैया : नगर पालिका के तत्वावधान में शहर के पुराने नुमाइश मैदान में चल रही शरदोत्सव प्रदर्शनी में बुधवार रात स्थानीय कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया। इसमें स्थानीय कवियों द्वारा अपनी-अपनी कविताओं का काव्य पाठ किया गया। कविताओं को सुनने के लिए श्रोता रात भर डटे रहे।

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स्थानीय कवि सम्मेलन का शुभारंभ पूर्व विधायक रामजी शुक्ल व मुख्य अतिथि शाखा प्रबंधक एलआइसी विपिन शुक्ल ने मां सरस्वती के समक्ष दीप प्रज्ज्वलित कर किया। इसके बाद कार्यक्रम के आयोजकों ने अतिथियों का शॉल व माल्यार्पण कर स्वागत किया। पूर्व विधायक रामजी शुक्ल ने कहा कि सारे ब्रह्मांड में खोज करने एवं समाज को नई दिशा देने में साहित्यकार कवियों की महत्वपूर्ण भूमिका रहती है। इसके बाद कवि सम्मेलन की शुरुआत डा. गो¨वद द्विवेदी ने सरस्वती वंदना के साथ की। कवि रविशंकर शुक्ल ने अपने गीत मुरझा गया मन कुमंद बंधु तो उजली रातों का क्या होगा प्रस्तुत की। इसके अलावा रमेश चंद्र शर्मा, अनिरुद्ध त्रिपाठी, डा. पीएन शुक्ल, राजकुमार शुक्ल, सुरेश बाबू चतुर्वेदी, प्रवीण गुप्त, अयाज अहमद अयाज, अवध नरायन गुप्त, रामस्वरूप दीक्षित आदि ने भी अपनी कविताएं पढ़ीं। इसके बाद कार्यक्रम आयोजक समाजसेवी लालजी शुक्ल, सभासद श्रीपाल, पंकज मिश्र, छैया त्रिपाठी, पंकज अवस्थी ने सभी कवियों को शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया।


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