अजीतमल में बनेगा अत्याधुनिक पशु अस्पताल
देवेश सक्सेनाअजीतमल पशुपालन के लिए मशहूर जिले के अजीतमल क्षेत्र में अब अत्याधुनिक पशु चिकित्साल
देवेश सक्सेना,अजीतमल: पशुपालन के लिए मशहूर जिले के अजीतमल क्षेत्र में अब अत्याधुनिक पशु चिकित्सालय पशुपालकों को और प्रोत्साहित करेगा। अब उन्हें पशुओं की गंभीर बीमारी में भी इलाज के लिए भटकना नहीं पड़ेगा। इसके लिए क्षेत्र के उपमुख्य पशुचिकित्सा केंद्र को आधुनिक और सुविधाओं से युक्त बनाया जाएगा। यहां नये भवन निर्माण के साथ दो इंडोर वार्ड बनेगा। इसमें गंभीर बीमार पशुओं को भर्ती करने की सुविधा होगी। इलाज के लिए अत्याधुनिक मशीनें लगेंगी और आधुनिक सुविधाओं से युक्त कैटिल क्रैश भी बनाया जाएगा। जलभराव न हो, इसके लिए परिसर को मुगल रोड से ऊंचा बनाने की योजना है। इसकी संस्तुति हो गई है और इसके निर्माण की जिम्मेदारी यूपीपीसीएल को सौंपी गई है।
अजीतमल क्षेत्र में पशुपालन तो बहुतायत होता है, लेकिन पशुओं के बीमार होने पर पशुपालकों को मुसीबत हो जाती है। यहां डिप्टी सीवीओ कार्यालय स्तर का पशु चिकित्सा केंद्र है, लेकिन सुविधाओं के अभाव के चलते लाभ नहीं मिल पाता है। यहां न तो बीमार पशुओं को भर्ती करने की सुविधा है न ही आवास आदि की व्यवस्था। भवन इतना जर्जर है कि इसमें बैठने से डाक्टर और पशुपालक डरते हैं। एक कमरे में स्टोर रूम के बाद बरामदे में कुर्सी डालकर डाक्टर काम करते हैं। जबकि इसी के भरोसे 109 राजस्व गांवों के पशुपालक हैं।
पशु चिकित्सालय पर तैनात चिकित्साधिकारी डॉ. कैलाश बाबू ने बताया कि इसके सुधार के लिए काफी दिन से विभाग से शासन तक पत्रचार जा रहा था। कुछ विभागीय अधिकारियों के अलावा तत्कालीन पशुधन एवं लघु सिचाई मंत्री (अब आगरा से सांसद) एसपी सिंह बघेल को इसकी स्थित सुधारने के लिए पत्राचार किया गया था। जिस पर इसे ठीक कहने की सहमति बनी। इसके लिए सर्वे करने को एक टीम भी गठित की गई। इसमें पीडब्ल्यूडी के अधिशाषी अभियंता, नगर पंचायत के अधिशाषी अधिकारी और मुख्य पशु चिकित्साधिकारी को नामित किया गया। गठित समिति ने अपनी जांच आख्या डीएम को दी। इसमें जर्जर भवन से हो रहे खतरे से आगाह करते हुए पशुपालकों के लिए आधुनिक सुविधाओ से युक्त नये भवन के निर्माण की संस्तुति की गई।
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यूपीपीसीएल को दो इंडोर वार्ड निर्माण की जिम्मेदारी दी गई है। इसके बनने से यहां पशुओं की इलाज की व्यवस्था ही नहीं बेहतर होगी बल्कि पशुओं को भर्ती करने की सुविधा हो जाएगी।
- डॉ. कैलाश बाबू, उप मुख्य पशुचिकित्साधिकारी