बूढ़ी व गरीब मां कर्ज लेकर करा रही थी उसका इलाज, क्षुब्ध बेटे ने ट्रेन के आगे कूद कर दी जान Prayagraj News
गुलाम मजदूरी कर परिवार का भरण-पोषण करता था। कुछ माह पूर्व वह घर से प्रयागराज किसी काम से जा रहा था। रास्ते में बस ने टक्कर मार दिया जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया था।
प्रयागराज, जेएनएन। वह बूढ़ी और गरीब वृद्ध महिला है। बेटा मेहनत-मजदूरी कर आर्थिक सहायता करता था। कुदरत का कहर बरपा और सड़क हादसे में बेटा जख्मी हो गया। आर्थिक विपत्ति हुई तो स्वजनों ने इलाज के लिए आशियाना बेच दिया। इलाज होता रहा और पैसे खत्म हो गए। इस पर परेशान मां ने कर्ज लेकर बेटे का इलाज जारी रखा। दूसरों के घर चूल्हा-चौका कर किराए के मकान में रहने लगी। अचानक अस्पताल के डॉक्टर ने ऑपरेशन करना जरूरी बताया। इसमें लाखों रुपये की जरूरत थी। सभी परेशान थे कि कैसे रुपये का बंदोबस्त होगा। असहाय देख क्षुब्ध बेटे ने आत्मघाती निर्णय लिया और ट्रेन के आगे कूदकर आत्महत्या कर लिया।
सड़क हादसे में गंभीर रूप से जख्मी हो गया था गुलाम
यह वाकया शहर से करीब 40 किमी दूर हंडिया कस्बे का है। हंडिया के वार्ड नंबर 11 स्थित मेवाड़ान बस्ती निवासी स्व. अलाऊददीन का 28 वर्षीय पुत्र गुलाम मेहनत-मजदूरी कर अपना व परिवार का भरण-पोषण करता था। कुछ माह पूर्व वह घर से प्रयागराज किसी काम से जा रहा था। रास्ते में बस ने टक्कर मार दिया, जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया था।
पत्नी व मां दूसरों के घर चूल्हा-चौका करने लगीं
परिजनों ने किसी प्रकार कर्ज लेकर गुलाम का इलाज विभिन्न अस्पतालों में कराया लेकिन अभी भी वह ठीक नहीं हो सका। परेशान परिजनों ने इलाज के लिए अपना आशियाना तक तक बेच डाला। अब चिकित्सकों ने उसके आपरेशन करने के लिए लाखों रुपये की मांग की। घर में एक फूटी कौड़ी न होने से परेशान पत्नी व बूढ़ी मां दूसरे के घर चूल्हा-चौका करके किराए के मकान में रहकर किसी तरह पेट पालने के साथ बेटे का इलाज कर रही थी। उधार भी लिया था।
घर की आर्थिक विपन्नता देख गुलाम क्षुब्ध था
घर की आर्थिक विपन्नता देख गुलाम अपने को दिन-रात कोसता था। इससे क्षुब्ध होकर वह पास के रेलवे लाइन के समीप पहुंचा और वाराणसी की ओर जा रही ट्रेन के आगे कूद कर आत्महत्या कर लिया। सूचना पर पहुंची हंडिया पुलिस शव को कब्जे में ले लिया। गुलाम की पत्नी चांदनी, मां इस्मतुन्निशा व बहन हीना समेत परिवार के लोगों का रो-रोकर हाल बेहाल है।